टाटा समूह की कंपनियों से खुद हटे साइरस मिस्त्री
टाटा संस से बर्खास्त चेयरमैन साइरस मिस्त्री ने रतन टाटा के खिलाफ आठ हफ्ते से जारी बोर्डरूम की जंग से हाथ खींच लिए हैं।
मुंबई, प्रेट्र। टाटा संस से बर्खास्त चेयरमैन साइरस मिस्त्री ने रतन टाटा के खिलाफ आठ हफ्ते से जारी बोर्डरूम की जंग से हाथ खींच लिए हैं। सोमवार को उन्होंने टाटा समूह की छह लिस्टेड कंपनियों के निदेशक बोर्ड से हटने का एलान किर दिया। इस संबंध में उन्होंने दो पन्ने का बयान और एक वीडियो संदेश जारी किया है। इसमें मिस्त्री ने साफ कहा कि उन्होंने लड़ाई छोड़ी नहीं है, बल्कि इसे बड़े प्लेटफॉर्म पर ले जाएंगे। यह एक तरह से कानूनी लड़ाई का संकेत है। इस मामले में टाटा संस ने कहा कि साइरस जब जान गए कि शेयरधारकों का बहुमत उनके खिलाफ है, तो उन्होंने यह फैसला लिया है।
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इसी हफ्ते छह कंपनियों की असाधारण आम बैठकों (ईजीएम) में शेयरधारकों को उन्हें हटाने का निर्णय करना था। इससे पहले ही मिस्त्री ने पद से हटने की घोषणा कर दी। अलबत्ता उन्होंने यह स्पष्ट नहीं किया कि वे समूह की होल्डिंग कंपनी टाटा संस के बोर्ड से निदेशक पद भी छोड़ेंगे या नहीं। इसके अलावा मिस्त्री ने समूह की ऑपरेटिंग फर्मों से भी पद छोडऩे के बारे में कोई एलान नहीं किया।24 अक्टूबर को टाटा संस के बोर्ड ने साइरस को चेयरमैन पद से हटाकर रतन को अंतरिम चेयरमैन बना दिया था। तभी से टाटा ने अपनी स्थिति मजबूत करने के लिए समूह की कंपनियों के निदेशक बोर्ड से भी साइरस को हटाने की दिशा में कदम बढ़ाए हैं। जबकि उसी समय से मिस्त्री टाटा समूह और रतन पर ताबड़तोड़ हमले कर रहे हैं। वह टाटा समूह की कई कंपनियों के चेयरमैन बने हुए थे, जबकि कुछ के बोर्ड में वह बतौर निदेशक शामिल थे।