Indore Temple: तस्वीरें जो बयां कर रही इंदौर बावड़ी हादसे का दर्द; वो शव जिसे उठाकर कांपने लगे जवानों के हाथ
इंदौर में रामनवमी के दिन गुरुवार को हादसे में अब तक 35 लोगों की मौत हो चुकी है। स्नेह नगर के पास पटेल नगर में श्री बेलेश्वर महादेव झूलेलाल मंदिर परिसर में बनीं बावड़ी के ऊपर की छत धंसने से कई लोग बावड़ी में गिर गए थे।
नई दिल्ली, ऑनलाइन डेस्क। Indore Temple Accident: रामनवमी के दिन इंदौर के बेलेश्र्वर महादेव झूलेलाल मंदिर में घटी भयावह घटना ने देशवासियों को झकझोर कर रख दिया है। गुरुवार को मंदिर के बावड़ी की छत धंसने की वजह से हवन-पूजन और मंत्रोच्चारण की जगह चीख-पुकार सुनाई देने लगी।
इस हादसे में 36 लोगों की मौत हो गई है। जान गंवाने वालों में महिलाओं से लेकर पांच साल तक का बच्चा शामिल है। हादसे के बाद से ही लगातार कई मार्मिक तस्वीरें सामने आ रही है, जो दिल को झकझोर देने वाली है।
घटना की सबसे दर्दनाक तस्वीर
हितांश की यह तस्वीर गुरुवार सुबह हादसे से ठीक पहले की है। हादसे ने इस मासूम की जिंदगी छीन ली। देर रात के बाद हितांश का शव निकाला गया। कहते हैं कि बच्चे से शव सबसे भारी होता है। बड़े-बड़े अभियान को अंजाम देने वाले जवानों के लिए बच्चों के शव सबसे भारी रहे। उनके हाथ कंपकंपाते दिखे। वहीं, एंबुलेंस से जब उसे अस्तापल भेजा जा रहा था तो उसके पिता उससे लिपट गए।
शव के अंतिम संस्कार की तैयारियां
हादसे में मारे गए लोगों के अंतिम संस्कार की तैयारी चल रही है। बावड़ी हादसे में गुजराती पटेल समाज के तकरीबन 11 लोगों की मौत हो गई है।
मंदिर के सामने गुजराती समाज के घर हैं। बताया जा रहा है कि हर घर से एक-दो की मौत हुई है।
मौत का मंजर और चेहरे पर मायूसी
मंदिर परिसर में फेंसे अपने रिश्तेदारों का इंतिजार कर रहे परिजन
घायलों से मिले सीएम शिवराज सिंह
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने एप्पल अस्पताल में मंदिर दुर्घटना में घायलों और उनके परिजनों से भेंट की और उनसे घटना के बारे में बातचीत की।। उन्होंने कहा कि घायलों का इलाज सरकार कराएगी। भविष्य में ऐसी घटना न हो इसके लिए प्रदेश में ऐसे ढके हुए कुएं-बावड़ी की तलाश कर खोले जाएंगे।
रात भर बाहर आते रहे शव
मंदिर की बावड़ी से रात भर बाहर श्रद्धालुओं के शव का निकलना जारी रहा। रात 12:00 बजे से सुबह 5:00 बजे तक चले सेना के सर्च ऑपरेशन के बाद 21 शव बाहर निकाले गए थे।
मंदिर परिसर से आई कुछ भयावह तस्वीरें
(फोटो सोर्स: नई दुनिया और एपी)