Madhya Pradesh: एक ही सिरिंज से 40 विद्यार्थियों को लगाई वैक्सीन, वैक्सीनेटर पर FIR; टीकाकरण अधिकारी निलंबित
Madhya Pradesh एक ही सिरिंज (Syringe) से 40 विद्यार्थियों को कोरोना वैक्सीन लगाने पर वैक्सीनेटर के खिलाफ एफआइआर दर्ज कराई गई है। मामला मध्य प्रदेश के सागर जिले का है। इस मामले को लेकर परिजनों ने नाराजगी जताई है।
सागर, जेएनएन। Madhya Pradesh: मध्य प्रदेश के सागर (Sagar) जिले में कोरोना टीकाकरण में गंभीर लापरवाही का मामला सामने आया है। जैन हायर सेकेंडरी स्कूल में बुधवार को एक ही सिरिंज से 40 विद्यार्थियों को कोरोना वैक्सीन (Corona Vaccine) लगाने पर वैक्सीनेटर जितेंद्र अहिरवार के खिलाफ एफआइआर दर्ज कराई गई है। कमिश्नर मुकेश शुक्ला ने जिला टीकाकरण अधिकारी डा. एसआर रोशन को निलंबित कर दिया है। उन्होंने यह कार्रवाई भोपाल से गुरुवार को यहां पहुंची टीम द्वारा की गई प्रारंभिक जांच में लापरवाही सामने आने पर की। आरोपित जितेंद्र अहिरवार फरार है।
अभिभावकों ने जताई नाराजगी
बुधवार को स्कूल में टीकाकरण के दौरान कुछ अभिभावकों ने देखा कि वैक्सीन लगाने वाला युवक सिरिंज (Syringe) नहीं बदल रहा है। वह एक ही सिरिंज से कई विद्यार्थियों को वैक्सीन लगा रहा है। इस पर नाराजगी जताते हुए अभिभावकों ने हंगामा कर दिया। जिला पंचायत सीईओ क्षितिज सिंघल ने तत्काल मुख्य चिकित्सा व स्वास्थ्य अधिकारी (सीएमएचओ) डा. डीके गोस्वामी को मौके पर भेजा। सीएमएचओ स्कूल पहुंचे तो वैक्सीनेटर वहां से भाग चुका था। उन्होंने वैक्सीनेटर को फोन लगाया तो वह भी बंद मिला।
गोपालगंज थाने में एफआइआर दर्ज
वैक्सीनेटर जितेंद्र अहिरवार बीएससी (नर्सिंग) तृतीय वर्ष का छात्र है। जिले में नर्सिंग छात्रों को भी टीकाकरण में लगाया गया था। आरोपित जितेंद्र अहिरवार के विरुद्ध गोपालगंज थाने में एफआइआर (FIR) दर्ज कराई गई है। टीआइ कमल सिंह ठाकुर ने बताया कि जितेंद्र अहिरवार के खिलाफ धारा 336 के तहत मामला दर्ज किया गया है। इसके तहत कोई ऐसा कार्य जो उतावलेपन या उपेक्षापूर्वक करने की वजह से किसी मानव जीवन या किसी की व्यक्तिगत सुरक्षा को खतरा होने पर प्रकरण दर्ज किया जाता है।
विद्यार्थियों के रक्त के सैंपल लिए गए
इसी बीच, गुरुवार को अभिभावकों की उपस्थिति में जिला अस्पताल में सभी विद्यार्थियों के रक्त (Blood) के सैंपल लिए गए। इनसे कई बीमारियों की जांच की जाएगी। बुंदेलखंड मेडिकल कालेज के वरिष्ठ चिकित्सक डा. उमेश पटेल ने बताया कि यदि एक बार उपयोग की जा चुकी सिरिंज से किसी दूसरे को वैक्सीन लगाई जाती है तो उस व्यक्ति को रक्त से फैलने वाली बीमारियां हो सकती हैं। इसमें हेपेटाइटिस बी, हेपेटाइटिस सी, मलेरिया व एचआइवी जैसी बीमारी फैलने का खतरा हो सकता है। अब यदि किसी भी विद्यार्थी में संक्रमण मिलता है तो उस बीमारी से बचाव के लिए एंटी डोज लगवानी होगी।