यूलिया स्क्रीपाल जहरकांड मामले में रूस ने ब्रिटेन से किया सहयोग का अनुरोध

रूसी कानून समिति जो यूलिया स्क्रीपाल को जहर देने के मामले की जांच कर रही है इसने ब्रिटेन को अनुरोध किया है कि वह इस जांच में मॉस्को को कानूनी सहायता प्रदान करे।

By Srishti VermaEdited By: Publish:Thu, 29 Mar 2018 01:30 PM (IST) Updated:Thu, 29 Mar 2018 04:02 PM (IST)
यूलिया स्क्रीपाल जहरकांड मामले में रूस ने ब्रिटेन से किया सहयोग का अनुरोध
यूलिया स्क्रीपाल जहरकांड मामले में रूस ने ब्रिटेन से किया सहयोग का अनुरोध

मॉस्को (रायटर्स)। एक रूसी कानून समिति जो यूलिया स्क्रीपाल को जहर देने के मामले की जांच कर रही है इसने ब्रिटेन को अनुरोध किया है कि वह इस जांच में मॉस्को को कानूनी सहायता प्रदान करे। मास्को ने ब्रिटिश सहकर्मियों से अपराध के हालातों की जांच करने के लिए कई आवश्यक सामग्रियों की प्रतियां प्रदान करने की मांग की है।

मॉस्को ने लंदन से अनुरोध किया है कि वे उस जगह की जांच की रिपोर्ट हमें सौंपे जहां पर यूलिया स्क्रीपाल को जहर दिए जाने के बाद बेहोश पाया गया था, साथ ही मेडिकल जांच की भी रिपोर्ट सौंपने को कहा है। पूर्व रूसी डबल एजेंट सर्गी स्क्रीपाल और उनकी बेटी यूलिया को जहर दिए जाने का मामला पिछले दिनों काफी चर्चा में रहा था।

साक्ष्यों को छुपाने का ब्रिटेन पर लगाया था आरोप

इससे पहले वरिष्ठ रूसी राजनयिकों और सैन्य अधिकारियों ने ब्रिटेन पर सलिसबरी में नर्व एजेंट पर हुए हमले के सबूतों को छुपाने या नष्ट करने का आरोप लगाया था। मॉस्को में विदेश मंत्रालय में दिए गए बयान से ये जानकारी सामने आई है इस बैठक में कुछ चुनिंदा देशों के अलावा सभी देशों के रूसी राजदूत मौजूद थे। राजनयिकों से बात करते हुए व्लादीमिर पुतिन ने कहा कि ब्रिटेन मामले से संबंधित साक्ष्यों को छुपाने की कोशिश कर रहा है जो बाद में संभवत: नष्ट हो जायेंगे।

मॉस्को विदेश मंत्रालय में आयोजित राजनयिकों की इस बैठक में ब्रिटिश राजदूत लॉरी ब्रिस्टो शामिल नहीं हुए थे, उनके अलावा अमेरिकी, जर्मनी और फ्रांस के राजनयिकों ने भी इस बैठक में हिस्सा नहीं लिया। आपको बता दें कि सलिसबरी जासूस जहरकांड मामले को लेकर 23 रूसी राजनयिकों को मंगलवार को ब्रिटेन दूतावास से निकाल दिया गया है। कल ही अधिकारियों ने लंदन से मॉस्को के लिए उड़ान भरी है। दोनों देशों के बीच बढ़ते तनाव को देखते हुए ब्रिटेन के प्रधानमंत्री थेरेसा मे ने 14 मार्च को रूसी कर्मचारियों से अपना सामान पैक कर लेने का आदेश दे दिया था। कल रूसी राजनयिकों और उनके परिवारों को लेकर आए एक विमान लंदन से रवाना होकर मॉस्को के लिए उड़ान भरा।

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