9/11 की तर्ज पर आयोग से कराई जाए अमेरिकी संसद पर हुए हमले की जांच, नैंसी पेलोसी ने लिखा पत्र

अमेरिका के इतिहास में छह जनवरी को काले दिनों में से एक माना जाता है। इस दिन पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के समर्थक इस इमारत में घुस आए थे और तोड़फोड़ करने लगे थे। इससे सैकड़ों सांसदों की जान खतरे में पड़ गई थी।

By Dhyanendra Singh ChauhanEdited By: Publish:Tue, 16 Feb 2021 08:11 PM (IST) Updated:Tue, 16 Feb 2021 08:24 PM (IST)
9/11 की तर्ज पर आयोग से कराई जाए अमेरिकी संसद पर हुए हमले की जांच, नैंसी पेलोसी ने लिखा पत्र
प्रतिनिधि सभा की अध्यक्ष नैंसी पेलोसी ने साथी सांसदों को लिखा पत्र

वाशिंगटन, प्रेट्र। अमेरिकी प्रतिनिधि सभा की अध्यक्ष नैंसी पेलोसी ने अमेरिकी संसद पर हुए हमले की जांच के लिए एक स्वतंत्र आयोग का प्रस्ताव रखा है। उनका कहना है कि जिस तरह के आयोग के जरिये 9/11 हमले की जांच हुई थी, उसी तर्ज पर छह जनवरी के हमले की जांच होनी चाहिए। अमेरिका के इतिहास में छह जनवरी को काले दिनों में से एक माना जाता है। इस दिन पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के समर्थक इस इमारत में घुस आए थे और तोड़फोड़ करने लगे थे। इससे सैकड़ों सांसदों की जान खतरे में पड़ गई थी।

बता दें कि नेशनल कमिशन ऑन टेररिस्ट अटैक्स अपॉन द यूनाइटेड स्टेट्स (अमेरिका पर आतंकवादी हमले की जांच के लिए राष्ट्रीय आयोग) को 9/11 आयोग कहा जाता है और यह 11 सितंबर को हुए आतंकी हमले की विस्तृत जांच के लिए गठित हुआ था। यह भी द्विदलीय पैनल था।

पेलोसी ने सोमवार को अपने सहकर्मियों को भेजे गए पत्र में यह बात कही है। अमेरिकी सीनेट में दूसरे महाभियोग की कार्यवाही में पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बरी होने के 50 घंटे के भीतर पेलोसी ने यह पत्र लिखा है। ट्रंप पर भीड़ को अमेरिकी संसद पर हमला करने के लिए उकसाने के आरोप लगे थे।

दोनों ही पार्टियों के कुछ सांसदों ने भी की है जांच की मांग

उन्होंने प्रतिनिधि सभा में अपने डेमोक्रेटिक सहकर्मियों को लिखे गए एक पत्र में कहा, 'सामने आए तथ्यों और महाभियोग मुकदमे से यह स्पष्ट है कि हमें यह जरूर जान लेनी चाहिए कि यह कैसे हुआ। पेलोसी ने पत्र में लिखा कि देश की सुरक्षा की रक्षा के लिए अगला कदम अमेरिकी संसद पर घरेलू आतंकवादी हमले की जांच के लिए 9/11 हमले की जांच के तर्ज पर ही आयोग का गठन किया जाए और तथ्यों की जांच करते हुए छह जनवरी के हमले के पीछे की वजहों का पता लगाया जाए। इसी तरह की मांग दोनों ही पार्टियों के कुछ सांसदों ने भी की है।

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