मुख्यमंत्री ममता के दरबार पहुंचे बस मालिक, बस किराया बढ़ाने पर पुनर्विचार करने का किया अनुरोध
बस मालिकों ने अब सीधे मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से किराया बढ़ाने पर पुनर्विचार करने का अनुरोध किया है।
राज्य ब्यूरो, कोलकाता : बस मालिकों ने अब सीधे मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से किराया बढ़ाने पर पुनर्विचार करने का अनुरोध किया है। वेस्ट बंगाल बस एंड मिनी बस आनर्स एसोसिएशन ने शुक्रवार दोपहर राज्य सचिवालय नवान्न जाकर इस बाबत ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन में एसोसिएशन की तरफ से कहा गया कि मौजूदा किराए पर सीमित यात्रियों के साथ बसें चलाना संभव नहीं है। तीन जून के बाद से बस व मिनी बस में चढ़ने वाले यात्रियों की औसत संख्या घटकर क्रमशः 400 और 260 हो गई है। एक बस को चलाने में एक दिन का खर्च 7503 रुपये है। 400 यात्रियों से इस खर्च को वहन कर पाना संभव नहीं है। दूसरी तरफ बैंकों की तरफ से लॉकडाउन में ब्याज की अदायगी को लेकर किसी तरह की रियायत भी नहीं मिली है। बस मालिकों को अभी बकाया रोड टैक्स और बीमा के प्रीमियम का भी भुगतान करना है इसलिए नए किराये पर मुख्यमंत्री पुनर्विचार करें।
बस मालिकों ने तेल की बढ़ती कीमत को नियंत्रित करने के लिए केंद्र सरकार से बातचीत करने को राज्यपाल से भी गुहार लगाई है। वेस्ट बंगाल बस एंड मिनी बस आनर्स एसोसिएशन ने शुक्रवार को राजभवन जाकर राज्यपाल को भी ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन में कहा गया-हम राज्यपाल के माध्यम से केंद्र सरकार के सामने पश्चिम बंगाल के निजी यात्री परिवहन क्षेत्र की विभिन्न मांगों को रखना चाहते हैं। कोरोना महामारी के कारण हुए लॉकडाउन को देखते हुए बैंकों को बस की इएमआई नहीं लेनी चाहिए। सात जून के बाद से तेल की कीमतें जिस तरह से बढी हैं, उसे अविलंब वापस लिया जाना चाहिए। ऐसे विकट हालात में इस तरह की मूल्यवृद्धि अनैतिक है।
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रविवार को बस मालिकों की अहम बैठक
इस बीच ज्वाइंट काउंसिल ऑफ बस सिंडिकेट्स के महासचिव तपन कुमार बनर्जी ने बताया कि रविवार सुबह 11:00 बजे बस मालिक संगठनों की अहम बैठक बुलाई गई है, जिसमें आगे बसें चलाने पर निर्णय लिया जाएगा। बनर्जी ने कहा-' नया किराया तय करने के लिए राज्य सरकार की तरफ से जो नियामक कमेटी गठित की गई थी, वह बिल्कुल निष्क्रिय है। उसने अब तक राज्य सरकार को कोई रिपोर्ट नहीं सौंपी है। हमारे लिए एक-एक दिन बस चलाना मुश्किल हो रहा है। नुकसान उठाकर आखिर कितने दिनों तक बसें चलाई जा सकती है? ऊपर से डीजल के दाम भी बढते जा रहे हैं। रविवार की बैठक में बसों के परिचालन को लेकर अंतिम फैसला लिया जा सकता है।'