जल संस्थान ने बढ़ाया बिल, पुराना एरियर भी जोड़ा, अंतिम तिमाही के बिल बंटने शुरू

अंतिम तिमाही का बिल बढ़कर आने व पिछले साल अप्रैल से दिसंबर तक का नए टैरिफ के हिसाब से बकाया बिलों में जुड़कर आने से उपभोक्ताओं में खलबली मची है।

By Skand ShuklaEdited By: Publish:Thu, 21 Feb 2019 12:51 PM (IST) Updated:Thu, 21 Feb 2019 07:45 PM (IST)
जल संस्थान ने बढ़ाया बिल, पुराना एरियर भी जोड़ा, अंतिम तिमाही के बिल बंटने शुरू
जल संस्थान ने बढ़ाया बिल, पुराना एरियर भी जोड़ा, अंतिम तिमाही के बिल बंटने शुरू

हल्द्वानी, जेएनएन : जल संस्थान ने नए टैरिफ के हिसाब से बिल बनाकर उपभोक्ताओं को बंटवाने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। अंतिम तिमाही का बिल बढ़कर आने व पिछले साल अप्रैल से दिसंबर तक का नए टैरिफ के हिसाब से बकाया बिलों में जुड़कर आने से उपभोक्ताओं में खलबली मची है। जानकारी के अभाव में लोग बकाया व बढ़े बिल की जानकारी लेने के लिए जल संस्थान दफ्तर पहुंच रहे हैं।

विभाग ने पेयजल की दरों में नौ फीसद की वार्षिक वृद्धि की थी। वर्ष 2018 के अप्रैल में पेयजल सचिव ने इस वृद्धि को स्थगित कर दिया। वहीं, 28 नवंबर को पेयजल सचिव ने पूर्व में निरस्त की गई जल मूल्य में वार्षिक वृद्धि के आदेश को वापस ले लिया। साथ ही नए आदेश में एक अप्रैल 2018 से ही पुराने टैरिफ में नौ फीसद वार्षिक वृद्धि के हिसाब से जल मूल्य वसूलने के आदेश जल संस्थान को दिए। अधिशासी अभियंता विशाल कुमार ने बताया कि जनवरी से मार्च तक के तीन माह के बिल उपभोक्ताओं को बांटने शुरू कर दिए गए हैं। इन बिलों में नए टैरिफ के हिसाब से शुल्क के साथ ही अप्रैल 2018 से दिसंबर तक का एरियर भी बकाया में जोड़कर दिया जा रहा है। कई लोगों को शासन के आदेश की जानकारी नहीं है। जिस कारण समय पर बिल देने वाले लोग बकाया देख जल संस्थान दफ्तर पहुंच रहे हैं। उन्हें नए टैरिफ व अप्रैल से दिसंबर तक के एरियर की जानकारी देकर संतुष्ट किया जा रहा है।

25 तक जमा होंगे बिल, फिर काटेंगे कनेक्शन

जल संस्थान के अधिशासी अभियंता विशाल कुमार ने बताया कि बिलों को बांटने का काम मार्च पहले पखवाड़े तक पूरा हो जाएगा। लोगों को 25 मार्च तक बिल जमा कराने के लिए समय दिया गया है। इस निर्धारित समयावधि तक बिल जमा नहीं कराने वालों के 26 मार्च से कनेक्शन काटने की कार्रवाई शुरू की जाएगी।

24.84 करोड़ लक्ष्य, 16.52 करोड़ वसूला

जल संस्थान ने वित्तीय वर्ष 2018-19 के लिए जल मूल्य के रूप में 24.84 करोड़ रुपये का लक्ष्य रखा है। अफसरों के मुताबिक दिसंबर माह तक 16.52 करोड़ रुपये के राजस्व की वसूली की जा चुकी है। अंतिम तिमाही के जलमूल्य व पुराने बकाए की वसूली शुरू कर दी गई है। यहां बता दें कि जल संस्थान को शहरी क्षेत्र में 21 करोड़ रुपये व ग्रामीण क्षेत्र में 11 करोड़ रुपये इस वित्तीय वर्ष की कुल बकाया वूसल करना था।

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