Haridwar Kumbh 2021: कुंभ में दंडी स्वामी जूना अखाड़े के साथ करेंगे शाही स्नान

Haridwar Kumbh 2021 अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के राष्ट्रीय महामंत्री श्रीमहंत हरि गिरि ने कहा कि हरिद्वार कुंभ में दंडी स्वामियों को पूरा सम्मान देते हुए उन्हें जूना अखाड़ा के साथ शाही स्नान कराया जाएगा। रविवार को जूना अखाड़ा की छावनी माया देवी मंदिर परिसर में यह बात कही।

By Raksha PanthariEdited By: Publish:Sun, 03 Jan 2021 12:24 PM (IST) Updated:Sun, 03 Jan 2021 10:11 PM (IST)
Haridwar Kumbh 2021: कुंभ में दंडी स्वामी जूना अखाड़े के साथ करेंगे शाही स्नान
Haridwar Kumbh 2021: किन्नर अखाड़ा और दंडी स्वामी जूना अखाड़े के साथ करेंगे शाही स्नान।

जागरण संवाददाता, हरिद्वार। Haridwar Kumbh 2021  अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के राष्ट्रीय महामंत्री श्रीमहंत हरि गिरि ने कहा कि हरिद्वार कुंभ में दंडी स्वामियों को पूरा सम्मान देते हुए उन्हें जूना अखाड़ा के साथ शाही स्नान कराया जाएगा। रविवार को जूना अखाड़ा की छावनी माया देवी मंदिर परिसर में श्रीमहंत हरि गिरि ने यह बात कही। 

उन्होंने स्पष्ट किया है कि दंडी स्वामी (दंडी संन्यासी) अखाड़ों और संत समाज का सम्मानित हिस्सा हैं। इसलिए श्री पंच दशनाम जूना अखाड़ा हरिद्वार कुंभ में उन्हेंं अपने साथ शाही स्नान करने का मौका एवं सम्मान प्रदान करेगा। उन्होंने यह भी दोहराया कि किन्नर अखाड़ा जूना अखाड़ा के साथ है और साथ ही रहते हुए उज्जैन व प्रयागराज कुंभ की व्यवस्थाओं के साथ ही हरिद्वार कुंभ में भी शाही स्नान का हिस्सा बनेगा।

खास होते हैं दंडी संन्यासी

दंडी संन्यासी ब्रह्मचर्य का पालन करते हैं और मान्यता है कि दैनिक जीवन की प्रक्रियाओं से गुजरते हुए ध्यान के साधन का इस्तेमाल कर स्वयं को परमात्मा से जोड़ लेते हैं। दंडी सिले हुए वस्त्र नहीं पहनते और एकांत में बिना बिस्तर के सोते हैं। वह भिक्षा मांगकर दिन में केवल एक ही बार सूर्यास्त से पहले भोजन करते हैं। साथ ही जीवन में ऐश और आराम की सारी वस्तुओं का त्याग कर देते हैं। भिक्षा मांगने का भी दंडियों का एक सिद्धांत है। वे दिनभर में अधिकतम सात घरों से ही भिक्षा मांगते हैं और कुछ न मिलने पर भूखे ही सो जाते हैं।

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