मुन्स्यारी में खुलेगा निम जैसा संस्थान

राज्य ब्यूरो, देहरादून: मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि लोक निर्माण विभाग, सिंचाई व आपदा विभाग की वि

By Edited By: Publish:Tue, 04 Nov 2014 01:01 AM (IST) Updated:Tue, 04 Nov 2014 01:01 AM (IST)
मुन्स्यारी में खुलेगा निम जैसा संस्थान

राज्य ब्यूरो, देहरादून: मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि लोक निर्माण विभाग, सिंचाई व आपदा विभाग की विशेष डिवीजन बनाई जाएगी, जो केदारनाथ जैसी विषम परिस्थितियों में काम करने के लिए पूर्ण समर्पित होगी। उत्तरकाशी स्थित नेहरू पर्वतारोहण संस्थान की तर्ज पर मुन्स्यारी में भी संस्थान खोला जाएगा। हिमालय दर्शन योजना के लिए भी कार्ययोजना तैयार की जा रही है। चारधाम के कपाट बंद होने के बाद भी वहां साहसिक पर्यटन के तहत पर्यटकों को ले जाने की योजना तैयार की गई है।

प्रदेश कांग्रेस प्रभारी अंबिका सोनी व सह प्रभारी संजय कपूर की मौजूदगी में सोमवार को सीएम आवास पर हुई बैठक में मुख्यमंत्री हरीश रावत ने केदारनाथ पुनर्निर्माण और पुनर्विकास के लिए हुए कार्यो व आगे की कार्ययोजना की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि प्रदेश में 60 हेलीपैड चिह्नित किए गए हैं, जिनमें से 12 पर काम शुरू हो गया है। एसडीआरएफ की दो अन्य कंपनियां गठित की जा रही हैं। इसमें भर्ती भी शुरू हो गई है। केदारनाथ में अब अगले चरण का कार्य प्रारंभ हो रहा है। कपाट बंद होने के बाद भी पहली बार 400 से अधिक लोग वहां काम पर लगे हैं।

उन्होंने कहा कि आपदा में बेघर हुए 2500 में से 2400 लोगों के आवास बन चुके हैं। इस वर्ष चारधाम यात्रा पर चार लाख से अधिक श्रद्धालु आए, जिसका लाभ अगले वर्ष की यात्रा में मिलेगा। अब सरकार धारचूला में भी अपना ध्यान केंद्रित करेगी। रुद्रप्रयाग के डीएम ने बताया कि केदारनाथ मंदिर के पीछे निर्माण नहीं किया जाएगा। तीर्थ पुरोहितों से विचार विमर्श के बाद बायीं व दायीं तरफ आवश्यक खाली जगह छोड़ी जाएगी। मंदिर के सामने भी चौड़ा गलियारा रखा जाएगा। केदारनाथ में प्रभावितों के पुनर्वास के लिए सरकार के पास पर्याप्त जगह है।

उन्होंने बताया कि त्रिजुगीनारायण से चौमासी तक वैकल्पिक मार्ग वन विभाग तैयार करेगा। सरस्वती व मंदाकिनी नदियों को मोड़ने के साथ ही मंदिर के पीछे की ओर तीन स्तरीय सुरक्षा दीवार बनेगी। रामबाड़ा से लिनचौली व लिनचौली से केदारनाथ तक दो चरणों में रोपवे बनाया जाएगा। नदियों के दोनों ओर आरसीसी की दीवारें बनाई जाएंगी। उत्तरकाशी के डीएम ने बताया कि भागीरथी में अधिक मलबा आने से उत्तरकाशी शहर को खतरा हो सकता था। इसे देखते हुए मलबा हटाने का काम एनडीएमए के तहत किया गया।

नदी के दोनों ओर चार किलोमीटर तक आरसीसी दीवार बनाई गई। सचिव अमित नेगी ने विश्व बैंक व एशियाई विकास बैंक के तहत परियोजना प्रबंधन यूनिट के कार्यो की जानकारी दी। बैठक में विधानसभा अध्यक्ष गोविंद सिंह कुंजवाल, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष किशोर उपाध्याय, कैबिनेट मंत्री इंदिरा हृदयेश, यशपाल आर्य, दिनेश अग्रवाल, सुरेंद्र सिंह नेगी, मंत्री प्रसाद नैथानी, प्रीतम सिंह, हरीश चंद्र दुर्गापाल, मुख्य सचिव एन रविशंकर, अपर मुख्य सचिव राकेश शर्मा आदि मौजूद थे।

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