औषधीय मशरूम की गुणवत्ता बताई
जागरण संवाददाता, देहरादून : खाद्य और औषधीय मशरूम की खेती पर एफआरआइ में मानव संसाधन विक
जागरण संवाददाता, देहरादून : खाद्य और औषधीय मशरूम की खेती पर एफआरआइ में मानव संसाधन विकास प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया गया। मशरूम की कृत्रिम खेती पर तकनीकी अधिकारियों को प्रशिक्षण प्रदान के उद्देश्य से इस प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया गया है।
सोमवार को एफआरआइ में आयोजित कार्यक्रम में मशरूम की खेती के व्यवहारिक पहलुओं को लेकर चर्चा की गई। एफआरआइ की निदेशक डॉ. सविता ने प्रशिक्षण कार्यक्रम का उद्घाटन किया। कार्यक्रम में मशरूम की खेती से भविष्य में हितधारकों, खासकर किसानों को अपनी आय में वृद्धि करने को लेकर तकनीकी पहलुओं की भी जानकारी दी गई। वैज्ञानिकों के अनुसार ओयस्टर मशरूम अत्यधिक पौष्टिक होता है और बाजार में इसका अच्छा मूल्य मिलता है। जबकि गैनोडरमा ल्यूसीडम में उच्च औषधीय गुण जैसे कि एंटी कैंसर, इम्यूनोमोडालेटर और विभिन्न शारीरिक क्षमताओं में सुधार वाले गुण पाए जाते हैं। 19 जनवरी तक आयोजित कार्यक्रम में इसके अलावा मशरूम के व्यवसायिक और विपणन पहलुओं व बायोएक्टिव रसायन के प्रयोग को लेकर विस्तार से चर्चा की जाएगी। इस मौके पर डॉ. शैलेश पांडेय, रंजना जुवांठा, डॉ. अमित पांडेय, डॉ. विपिन प्रकाश आदि मौजूद रहे।