वोट की चोट से महिला सशक्तिकरण के नारे को किया सार्थक

जागरण संवाददाता बागेश्वर लोकसभा चुनावों में महिला मतदाताओं की संख्या कम होने के बाद भी उन्

By JagranEdited By: Publish:Thu, 11 Apr 2019 11:58 PM (IST) Updated:Thu, 11 Apr 2019 11:58 PM (IST)
वोट की चोट से महिला सशक्तिकरण के नारे को किया सार्थक
वोट की चोट से महिला सशक्तिकरण के नारे को किया सार्थक

जागरण संवाददाता, बागेश्वर: लोकसभा चुनावों में महिला मतदाताओं की संख्या कम होने के बाद भी उन्होंने पुरुषों को पछाड़ दिया है। जिले की दो विधानसभा में महिलाओं ने 64.96 फीसद मतदान किया तो वहीं पुरुष मतदाताओं ने केवल 49.63 फीसद ही मतदान किया।

पहाड़ की अर्थव्यवस्था की रीढ़ महिलाएं अब लगातार लोकतंत्र में अपनी सक्रिय हो रही है। वह भी अपने अधिकारों का खुलकर प्रयोग करने लगी है। बागेश्वर जिले में हुए चुनाव में महिला सशक्तिकरण के नारे को भी सार्थक करते हुए दिखाया हैं। बागेश्वर जिले में कपकोट और बागेश्वर विधानसभा है। कपकोट विधानसभ में पुरुष मतदाताओं की संख्या 48839 व महिलाओं की 48002 थी। जब मतदान की बारी आई तो महिलाओं ने पुरुषों को पछाड़ दिया। यहां 61.82 प्रतिशत महिला मतदाताओं ने मताधिकार का प्रयोग किया जबकि पुरुष मतदाता 50.04 प्रतिशत मत पर ही सिमट गए। कपकोट विधानसभा क्षेत्र आíथक, सामाजिक ²ष्टि से काफी पिछड़ा माना जाता हैं। महिलाओं ने मतदान कर इस इलाके को संपन्न बना दिया हैं।

यहीं बागेश्वर जिले में देखने को मिला। यहां तो कपकोट विधानसभा से ही कम पुरुषों ने मतदान किया। यहां पुरुष मतदाताओं की संख्या 57889 व महिला मतदाताओं की संख्या 55860 थी। मतदान के दिन यहां 67.66 फीसद महिलाओं ने मतदान किया तो 49.29 प्रतिशत पुरुषों ने ही मतदान का प्रयोग किया। 2014 के लोकसभा चुनावों से भले ही कम मतदान हुआ हो। लेकिन महिलाओं ने एक बार फिर पुरुषों से आगे निकलकर अपने को साबित कर दिया हैं।

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