अनाथ पूजा को मिला फौजी साथी

माता-पिता के मृत्यु के बाद दोनों भाई-बहन अनाथ गए थे। बाद में पादरी विक्टर सिंह ने उन्हें अपनाया। समय गुजारा आज पूजा परिणय सूत्र में बंध गई है। सोमवार को उसने एक सैनिक देवेंद्र के साथ सात फेरे लिए है।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 10 May 2022 06:37 PM (IST) Updated:Tue, 10 May 2022 06:37 PM (IST)
अनाथ पूजा को मिला फौजी साथी
अनाथ पूजा को मिला फौजी साथी

जासं, बागेश्वर : कहते हैं समय सबसे बड़ा बलवान समय होता है। यह कहावत पूजा के जीवन में चरितार्थ हुई है। माता-पिता के मृत्यु के बाद दोनों भाई-बहन अनाथ गए थे। बाद में पादरी विक्टर सिंह ने उन्हें अपनाया। समय गुजारा आज पूजा परिणय सूत्र में बंध गई है। सोमवार को उसने एक सैनिक देवेंद्र के साथ सात फेरे लिए। शादी में समाज के लोगों ने सहयोग कर मिसाल पेश की है।

गरुड़ तहसील के सीर, गागरीगोल निवासी जीवन सिंह राणा की वर्षों पूर्व लाइलाज बीमारी के चलते निधन हो गया। कुछ वर्ष बाद जीवन की पत्नी अंजलि की भी मृत्यु हो गई। जीवन और अंजलि के दो मासूम बेसहारा हो गए। बच्चों के स्वजनों ने मुंह मोड़ लिया। जिन्हें अपनों ने ठुकराया उन्हें क्षेत्र के पादरी विक्टर सिंह ने अपनाया और स्वयं की मेहनत मजदूरी व समाज के सहयोग से दोनों बच्चों का लालन-पालन व पढ़ाई की व्यवस्था की। दोनों बच्चों का जीवन संघर्ष के बीच गुजरता रहा। दो दशक के संघर्षपूर्ण अंतराल बाद व्यस्क हो चुके इन दो भाई-बहन में विवाह योग्य पूजा का हाथ थामने आगे आए जखेड़ा लमचुला निवासी आनंद सिंह के पुत्र देवेंद्र सिंह। मंगलवार को पूजा, देवेंद्र के साथ शादी के बंधन में बंध गई। देवेंद्र भारतीय सेना में सैनिक हैं। गरीबी में जीवन यापन कर रहे इन बच्चों के साथ गरुड़ के अग्रणी लोगों ने मानवता दिखाई और पूजा के हाथ पीले हो गए। कन्यादान में माता-पिता के कर्म नौघर की ग्राम प्रधान नीमा अल्मिया व उनके समाजसेवी पति मोहन सिंह अल्मिया ने हिदू रीति रिवाज संपन्न कराए। पादरी ने जताया आभार

समाज और उसके लोग एकजुट हो जाएं तो हर असंभव कार्य संभव हो सकता है। ऐसा इस विवाह सेसंदेश मिलता है। इस सामाजिक कार्य में गरुड़ क्षेत्र की सिविल सोसाइटी के एडवोकेट डीके जोशी के अलावा नंदन सिंह अल्मिया, कैलाश अल्मिया, हरीश जोशी, मंजू जोशी, बीएस चिलवाल आदि अनेक लोगों के सहयोग के प्रति पादरी विक्टर सिंह ने आभार जताया है।

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