महाधिवेशन में चिंता, जीवन बीमा निगम अौर रेलवे में कर्मचारियों की हाे रही कमी

देश में अब जीवन बीमा, रेलवे आदि विभागों में कर्मचारियों की कमी होती जा रही है और कम बढ़ता जा रहा है। इससे देश में एक विरोधाभास की स्थिति सामने आ रही है।

By Abhishek SharmaEdited By: Publish:Sat, 22 Sep 2018 09:52 PM (IST) Updated:Sat, 22 Sep 2018 09:52 PM (IST)
महाधिवेशन में चिंता, जीवन बीमा निगम अौर रेलवे में कर्मचारियों की हाे रही कमी
महाधिवेशन में चिंता, जीवन बीमा निगम अौर रेलवे में कर्मचारियों की हाे रही कमी

वाराणसी (जेएनएन) : सरकारी व सार्वजनिक क्षेत्र में खाली पड़े 24 लाख पदों पर नियुक्ति नहीं होने से बेरोजगारी बढ़ रही है। जीवन बीमा, रेलवे आदि विभागों में कर्मचारियों की कमी होती जा रही है और कम बढ़ता जा रहा है। इससे देश में एक विरोधाभास की स्थिति सामने आ रही है। यह शनिवार को सीटू के प्रदेश सचिव देवाशीष ने वाराणसी डिवीजन इंश्योरेंस इंप्लाइज एसोसिएशन के दो दिवसीय वार्षिक महाधिवेशन में व्यक्त की। 

पांडेय हवेली स्थित शिलातुली भवन में आयोजित महाधिवेशन में उन्होंने कहा कि मुंबई और दिल्ली के किसान आंदोलन कर रहे हैं लेकिन सरकार इस दिशा में ध्यान नहीं दे रही हैं। बीएचयू में लंबे समय तक छात्रसंघ और शिक्षक संघ का चुनाव न होने से लोकतांत्रिक अधिकारों का हनन हो रहा है। विशेष वक्ता वीके सिंह ने कहा कि आज अस्तित्व की लड़ाई लडऩी पड़ रही है।

सरकार किसान व मजदूरों के हित में कार्य करें तो देश का समग्र विकास होगा। वीडीआइईए के पूर्व महामंत्री मनोहर लाल व विश्वनाथ यादव ने पेंशनरों के अधिकार व रक्षा पर चर्चा की। अध्यक्षता करते हुए वीडीआइईए के मंडलाध्यक्ष नारायण चटर्जी ने कहा कि जीवन बीमा निगम लगातार प्रगति के पथ पर है लेकिन इसका ग्राफ नीचे न गिरे इस पर ध्यान देना होगा। हमें अपने अधिकारों के साथ ही संगठन व निगम पर ध्यान देना होगा। आभार महामंत्री विनोद श्रीवास्तव ने प्रकट किया। महाधिवेशन में वाराणसी के अलावा चंदौली, भदोही, गाजीपुर, मीरजापुर, जौनपुर, बलिया व सोनभद्र के करीब दो सौ बीमा कर्मी उपस्थित थे। आयोजन के दूसरे दिन रविवार को नीतिगत चर्चा के साथ ही नए सत्र के लिए पदाधिकारियों का चुनाव भी होगा।

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