वाराणसी में मुख्य सीवर से घरों के कनेक्शन न होने पर नगर आयुक्त नाराज, मांगा स्पष्टीकरण

सारनाथ में चौपाल के दौरान दिए आदेश के बावजूद मुख्य सीवर से घरों के कनेक्शन न होने पर नगर आयुक्त नाराज हुए।

By Edited By: Publish:Fri, 20 Dec 2019 01:52 AM (IST) Updated:Fri, 20 Dec 2019 01:23 PM (IST)
वाराणसी में मुख्य सीवर से घरों के कनेक्शन न होने पर नगर आयुक्त नाराज, मांगा स्पष्टीकरण
वाराणसी में मुख्य सीवर से घरों के कनेक्शन न होने पर नगर आयुक्त नाराज, मांगा स्पष्टीकरण

वाराणसी, जेएनएन। सारनाथ में चौपाल के दौरान दिए आदेश के बावजूद मुख्य सीवर से घरों के कनेक्शन न होने पर नगर आयुक्त गौरांग राठी ने जल निगम के अफसरों से स्पष्टीकरण मांगा है। वहीं काम कराने को 15 जनवरी तक का समय दिया है। अफसरों को निर्देश दिया कि वरुणा पार के सभी क्षेत्रों में ओवरहेड टैंक से 31 दिसंबर तक जलापूर्ति शुरू कराएं। नगर आयुक्त बृहस्पतिवार को नगर निगम कार्यालय में क्षेत्र की समस्याओं को लेकर वरुणापार जोन के पार्षदों के साथ बैठक कर रहे थे। पार्षदों ने कहा कि आदेश के बावजूद जलकल व जल निगम के अधिकारी काम नहीं कर रहे। इस पर नगर आयुक्त ने अधिकारियों को फटकार लगाई।

पार्षदों ने कहा कि गंगा प्रदूषण व जल निगम की ओर से कराए गए सीवर, पेयजल के कार्य में लापरवाही से हर वाडरें में 20 से 25 जगह पानी की पाइप लाइन में लिकेज हो जा रही है। शिकायत पर जल निगम वाले जलकल का और जलकल वाले जल निगम का मामला बताकर टाल रहे हैं। इससे लीकेज बनाने में 2 से 3 माह लग रहा है। इस दौरान गलियों में सीवर का पानी फैल रहा है। हुकुलगंज क्षेत्र के पार्षद बृजेश चंद्र श्रीवास्तव ने जिला जेल की खाली जमीन पर बाउंड्री ना होने और जेल प्रशासन द्वारा सड़क किनारे मिट्टी का ढेर इकट्ठा करने से राहगीरों को हो रही परेशानी की बात कहीं।

पार्षद अशोक मौर्या ने कहा कि आदेश के बाद भी काम शुरू कराने में 2 से 3 माह लग जाते हैं। नजूल की जमीन पर अवैध अतिक्रमण तत्काल हटाया जाना चाहिए। नगर निगम अपनी संपत्ति को खाली नहीं करा पा रहा। बैठक में अशोक मौर्य, दिनेश यादव, संदीप त्रिपाठी, संदीप श्रीवास्तव, वंदना सिंह, विजयश्री मौर्या, अनीता ठाकुर, सुशील गुप्ता, राजेंद्र मौर्य आदि पार्षद थे।

- उद्यान अधीक्षक को हटाने की मांग वरुणापार जोन के 15 पार्षदों ने नगर आयुक्त को पत्र लिखकर उद्यान अधीक्षक को हटाने की मांग की है। कहना है कि वह लगभग 12 साल से कार्यालय अधीक्षक का भी काम देख रहे हैं। ऐसे में दो पदों पर काम करना शासनादेश के खिलाफ है। पार्षदों ने कार्य में लापरवाही का आरोप भी लगाया। अशोक मौर्या, जय सोनकर, राजेंद्र कुमार मौर्या, अनिता ठाकुर आदि थे।

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