शहर की आबोहवा रेड जोन में
जागरण संवाददाता नोएडा केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) की रिपोर्ट के अनुसार नोए
जागरण संवाददाता, नोएडा :
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) की रिपोर्ट के अनुसार नोएडा में शाम चार बजे बुधवार को वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआइ) 301 दर्ज किया गया। यह मंगलवार के एक्यूआइ-320 के मुकाबले 19 अंक कम है। वहीं ग्रेटर नोएडा का एक्यूआइ-324 दर्ज किया गया है। दोनों शहरों की हवा बहुत खराब श्रेणी में (रेड जोन) में बनी हुई है।
इससे पहले सुबह शहर प्रदूषण की चादर से लिपटा रहा। न्यूनतम दृश्यता कम रही। वाहन चालकों को परेशानी हुई। हालांकि सुबह 10 बजे धूप निकलने के बाद स्थिति कुछ सामान्य हुई। लेकिन शाम होते-होते प्रदूषण फिर से बढ़ने लगा। सीपीसीबी के मुताबिक बुधवार शाम गाजियाबाद का एक्यूआइ-317, गुरुग्राम का एक्यूआइ-313, फरीदाबाद व दिल्ली का एक्यूआइ-297 दर्ज किया गया। बुधवार को ग्रेटर नोएडा एनसीआर में सबसे प्रदूषित शहरों की लिस्ट में टाप पर रहा। यहां सुबह नौ बजे एक्यूआइ 306 दर्ज किया गया। दोपहर एक बजे में यह स्तर बढ़कर 312 हो गया। शाम छह बजे एक्यूआइ 339 दर्ज किया गया। नालेज पार्क-3 के स्टेशन के अनुसार पीएम-2.5 का औसत स्तर 326 व पीएम-10 का औसत स्तर 294 रहा। नालेज पार्क-5 के स्टेशन के अनुसार पीएम-2.5 का औसत स्तर 325 और पीएम-10 का औसत स्तर 335 रहा।
सिस्टम आफ एयर क्वालिटी एंड वेदर फार कास्टिंग एंड रिसर्च (सफर) के मुताबिक तेज हवाओं ने प्रदूषण को दूर तक ले जाने में मदद की है। प्रदूषक तत्व सतह पर जमा नहीं हो सके। शनिवार तक हवा बहुत खराब श्रेणी में बनी रह सकती है। गौरतलब है कि ठंड बढ़ने के साथ इन दिनों शहर में कई जगह बड़े स्तर पर निर्माण कार्य चल रहे हैं। प्रमुख मार्गो पर जाम लग रहा है। इससे वाहन जनित वायु प्रदूषण हो रहा है।
न्यूनतम तापमान 13.8 डिग्री पर पहुंचा: तापमान में लगातार गिरावट हो रही है। रात का पारा दो डिग्री कम हुआ है। मंगलवार को न्यूनतम तापमान 13.8 डिग्री सेल्सियस के साथ सामान्य से दो डिग्री सेल्सियस कम दर्ज किया गया है। अधिकतम तापमान 30.9 डिग्री सेल्सियस दर्ज हुआ। उत्तर पश्चिमी दिशा से चल रहीं हवाओं से मौसम शुष्क बना रहा। स्काइमेट वेदर के मौसम विज्ञानी के अनुसार राजस्थान के दक्षिण-पश्चिमी हिस्सों पर फिर से एक विपरीत चक्रवाती क्षेत्र हवाओं में विकसित हुआ है। अरब सागर के मध्य पूर्व में एक चक्रवाती हवा का क्षेत्र बना हुआ है। इससे मौसम शुष्क रहेगा।