Road accident in sambhal : पत्‍नी की मौत के बाद बच्‍चों से लिपटकर खूब रोया पिता

रुबी प्रत्येक सोमवार को मंदिर जरुर जाती थी। उन्हें क्या पता था कि उसी दिन उसका अंतिम सोमवार होगा। वह मंदिर तक नहीं पहुंच सकी।

By Narendra KumarEdited By: Publish:Tue, 21 Jul 2020 01:18 PM (IST) Updated:Tue, 21 Jul 2020 01:18 PM (IST)
Road accident in sambhal : पत्‍नी की मौत के बाद बच्‍चों से लिपटकर खूब रोया पिता
Road accident in sambhal : पत्‍नी की मौत के बाद बच्‍चों से लिपटकर खूब रोया पिता

सौंधन (सम्भल)। सारंगपुर गांव निवासी रूबी की मौत ने उसके दो अन्य बच्चों के भविष्य पर भी सवालिया निशान लगा दिया है। यह दोनों बच्चे कम उम्र के हैं और इनके बारे में सोचकर अन्य की आंखें भी नम हो जा रही है। इसके अलावा बब्लू की मौत से भी गांव गमगीन हैं। एक ही परिवार में तीन मौतों ने पूरे गांव का माहौल गम से भर दिया है। महिला रूबी के तीन बच्चे थे। एक आठ वर्षीय बेटा प्रशांत तथा पांच वर्षीय बेटी राधिका जो अब बच गए हैं। इनकी मां व सबसे छोटा तीन वर्षीय मासूम भाई हैप्पी इस दुनिया से चले गए।

हैप्पी की अपनी मां के साथ सड़क हादसे में मौत हो गई। इस सड़क हादसे ने प्रशांत व राधिका से मां की ममता छीन ली। मृतक रूबी के पति महेंद्र को जब पता चला कि उसकी पत्नी की भी इलाज के दौरान मौत हो गई तो वह होश हवास खो बैठा और अपने दोनों बच्चों से लिपट कर रोने लगा। वह पल ऐसा था कि वहां जो भी था वह रोने लगा। पूरा माहौल गम से भरा था। महेंद्र कभी पत्नी के शव को देखता तो कभी दोनों बच्चों को। उम्र के इस पड़ाव को इन बच्चों को अपनी मां की सबसे ज्यादा जरूरत थी और आज नियति ने यह कहानी लिख दी कि मां ही उनसे दूर चली गई।

लॉकडाउन के चलते दिल्ली से पति संग घर आई थी रूबी

रूबी अपने पति और तीनों बच्चों के साथ दिल्ली में मजदूरी करता था। लॉकडाउन के चलते वहां काम ना मिलने के कारण घर आ गए थे। गांव में भी रूबी अपने पति के साथ घर के काम में हाथ बटाती थी। अब इसका भार उसके पति महेंद्र पर आ पड़ा है। महेंद्र भी यही कहते-कहते रो रहा था कि मुझे बहुत सहारा देती थी मेरी पत्नी अब मैं यह सब कैसे करूंगा।

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