जागते रहिए आप क्योंकि सो रही है मुरादाबाद पुलिस Moradabad news

यह अलग बात है कि वर्ष 2019 में डकैती की घटनाएं अब तक मुरादाबाद में प्रकाश में नहीं आईं लेकिन पुराना रिकार्ड पुलिस को सचेत करता है।

By Narendra KumarEdited By: Publish:Sun, 03 Nov 2019 02:27 PM (IST) Updated:Sun, 03 Nov 2019 02:27 PM (IST)
जागते रहिए आप क्योंकि सो रही है मुरादाबाद पुलिस Moradabad news
जागते रहिए आप क्योंकि सो रही है मुरादाबाद पुलिस Moradabad news

मुरादाबाद, जेएनएन। जनपद की कानून व्यवस्था इस समय पूरी तरह भगवान भरोसे है। सर्दी की शुरुआत होते ही जिले की पुलिस पर सुस्ती छाने लगी है। यह हम नहीं बीते दस दिनों में जनपद में हुईं वारदातें कह रही हैं। चोरी व लूट की घटनाओं से लोगों की नींद उड़ गई है लेकिन, मुरादाबाद पुलिस की नींद हराम नहीं हुई है। 

मुरादाबाद में लुटेरों व डकैतों की सक्रियता वर्षों से रही है। वर्ष 2018 में महानगर के सीमाई क्षेत्र में डकैती की घटना पुलिस को आगाह करती रही है। सिर पर जब सर्द रातें हों तो पुलिस की जिम्मेदारी व जवाबदेही दोनों बढ़ जाती है। मूंढापांडे थाना क्षेत्र में एक सप्ताह के भीतर चोरी व लूट की आधा दर्जन से भी अधिक घटनाएं हो चुकी हैं। इसे रोकने व घटनाओं के पर्दाफाश में पुलिस पूरी तरह विफल रही है। 

आंखे खोलते आंकड़े 

- 24 अक्टूबर की रात मूंढापांडे थाना क्षेत्र के चमरपुरा दान व जगतपुर रामराय में चोरों ने दो मंदिर व एक स्कूल में चोरी की। 

- 25 अक्टूबर को दलपतपुर में एक बाइक एजेंसी में कूमल काट कर तीन लाख रुपये चोरी किए। दूसरी एजेंसी में भी कूमल काटने का प्रयास हुआ। 

- 28 अक्टूबर को मूंढापांडे के रोंडा झोंडा चौराहे पर इलेक्ट्रानिक दुकान से 14 हजार रुपये का सामान चोरी हो गया। 

- एक नवंबर की रात मूंढापांडे के अक्का डिलारी व गोधनपुर गांवों में लाखों रुपये की लूटपाट हुई। 

सर्द रातों में खुद रहें सचेत 

सर्द रात में चोरी, लूटपाट व डकैती की घटनाएं तभी रुकेंगी, जब हम स्वयं अपने नैतिक व सामाजिक दायित्व का निर्वाह करेंगे। गांवों में जहां ग्राम सुरक्षा समिति की सक्रियता बढ़ानी होगी, वहीं त्वरित सूचनाओं का तंत्र चुस्त रखना होगा। सुरक्षा समिति का गठन कर गांवों में पहरा करें। सीसीटीवी कैमरे लगाएं। पुलिस के इमरजेंसी नंबर व संबंधित थाना प्रभारी का सीयूजी नंबर अपने पास रखें। घटना की जानकारी तत्काल ग्राम प्रधान को दें। ग्राम प्रधान के पास पुलिस अधिकारियों का नंबर होता है। 

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