Ayodhya Case Verdict : अफवाहों पर न दें ध्यान फैसले का करें सम्मान moradabad news
अयोध्या पर आने वाले फैसले को लेकर देश का हर नागरिक उत्सुक है। क्या फैसला आए किसके पक्ष में आएगा। हालांकि यह फैसला देश का फैसला है।
मुरादाबाद, जेएनएन। अयोध्या पर आने वाले फैसले को लेकर देश का हर नागरिक उत्सुक है। क्या फैसला आए, किसके पक्ष में आएगा। हालांकि यह फैसला देश का फैसला है। दशकों से चले आ रहे विवाद पर निर्णय आने के बाद माहौल बदलेगा। फैसला चाहे जो भी देश का माहौल शांतिपूर्ण रहना जरूरी है। देश हमारा संविधान से चलता है और संविधान सर्वोच्च न्यायालय को सर्वोच्च शक्ति प्रदान करता है। ऐसे में उसका फैसला भी सर्वोच्च है। सभी के लिए भावनाएं और आस्था बाद में हैं पहले देश है। फैसले से पूर्व शासन और प्रशासन देश में शांति व्यवस्था कायम रखने के लिए तैयारी कर रहा है तो गणमान्य लोग भी सभी फैसले का सम्मान करने और शांति बनाए रखने की अपील कर रहे हैं।
देश संविधान से चलता है और हम सभी के लिए देश पहले होना चाहिए। फैसला किसी भी पक्ष में आए हमारी लोकतांत्रिक संस्थाओं का मान नहीं टूटना चाहिए। सभी एक दूसरे के धर्म का सम्मान करते हुए फैसले को स्वीकार करें।
सुरेश जैन, कुलाधिपति टीएमयू
यह फैसला एतिहासिक है। किसी एक के पक्ष में आएगा। इसे खुले दिल से स्वीकार करना चाहिए। हम सभी के देश पहले होना चाहिए। इसके बाद से देश में एक स्पष्टता की स्थिति आएगी।
आचार्य मुकुल शास्त्री, प्रचार्य ऋषिकुल संस्कृत महाविद्यालय
देश की सवा सौ करोड़ से अधिक जनता के लिए यह फैसला निर्णायक होगा। फैसला किसी के पक्ष में आए देश में अभी तक बनी भ्रम की स्थित खत्म होगी और सौहार्द का वातावरण बनेगा।
धीरतशांत दास, इस्कान प्रचारक
मंदिर और मस्जिद जिसके पक्ष में फैसला आए वह स्पष्ट होगा। इससे साफ होगा कि देश का कानून सभी के लिए समान है। हम सभी को एकजुटता के साथ के फैसले के हित में खड़ा होना चाहिए।
रणजीत सिंह बग्गा
राष्ट्रीय महासचिव आल इंडिया पंजाबी सिख प्रतिनिधि बोर्ड
कोर्ट के फैसले का इंतजार है। अफवाह फैलाने वाले भी सक्रिय हैं। ऐसे में आफवाह फैलाने वालों की बातों पर ध्यान देने की जरूरत नहीं है। माहौल को शांतिपूर्ण बनाएं रखें।
सैयद अली नईम चिश्ती, सच्जादनशीन दरगाह सुल्तान साहब
भारत के सर्वोच्च न्यायालय से आने वाले फैसले का समाज के सभी लोग सम्मान करेंगे। फैसला किसी के पक्ष में आए,हमें उसे सहज होकर स्वीकार करना चाहिए। समाज में सद्भाव एवं शांति कायम रहे भगवान से यही प्रार्थना करता हूं। प्रशासन और पुलिस अफसरों को सभी नागरिक सहयोग प्रदान करें।
सज्जन गिरि, महंत काली मंदिर लालबाग
भारत देश में सभी धर्म का सम्मान है। सभी नागरिकों को एक समान अधिकार संविधान ने प्रदान किए हैं। सभी धर्म के लोग एक-दूसरे का सम्मान करते हैं। अनेकता में एकता की मिसाल को हमें कायम करके रखना है। सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय को स्वीकार करने के साथ ही सम्मान भी करना चाहिए। समाज में सद्भाव एवं शांति बनाकर रखें।
पादरी पाल सारस्वत
अयोध्या में राम मंदिर पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत सभी लोगों को करना चाहिए। आपसी सौहार्द कायम रखने की जरूरत है। गंगा-जमुनी तहजीब को बनाये रखना होगा। हम सबकी नैतिक जिम्मेदारी है कि स्वेच्छा से फैसले का सम्मान करें, किसी भी तरह की अशांति नहीं फैलाने की जरूरत है। सभी धर्म के लोगों को मिलकर आपसी सौहार्द बनाना होगा।
हरिओम शर्मा, जिलाध्यक्ष भाजपा
सुप्रीमकोर्ट के फैसले का सम्मान होगा चाहिए। निर्णय जिसके भी पक्ष में आए, हमें अपनी एकता बनाये रखनी होगी। अयोध्या पर फैसला आने के बाद सभी लोगों को सम्मान करना होगा।
पवन जैन, आरएसएस, विभाग प्रचार प्रमुख
भारत का लोकतंत्र विश्व प्रसिद्ध है और लोकतंत्र में हमारे न्यायालयों की अहम भूमिका है। सुप्रीम कोर्ट से आने वाले फैसले का सभी नागरिक सम्मान करेंगे। इस दौरान जनपद की कानून व्यवस्था, शांति व्यवस्था एवं आपसी सौहार्द बनाए रखने में सहयोग प्रदान करें। किसी प्रकार की अफवाह पर विश्वास न करें, प्रशासन और पुलिस को तत्काल सूचना दें। फैसला आने के बाद कोई भी नागरिक सार्वजनिक रूप से किसी भी स्थल पर खुशी का इजहार न करें, तथा सभी लोग आपसी सौहार्द बनाने में अपनी भूमिका निभाकर पूरे विश्व को एक संदेश देने का काम करें। भारत की संस्कृति अनेकता में एकता की है। मुझे उम्मीद है कि सभी सहयोग प्रदान करेंगे।
राकेश कुमार सिंह,जिलाधिकारी
सुप्रीम कोर्ट के फैसले व संविधान का मंडल के सभी नागरिक सम्मान करेंगे। सामाजिक सद्भाव को कायम रखना सभी नागरिकों की जिम्मेदारी है। अफवाहों से सभी बचकर रहें। किसी भी विपरीत स्थिति की जानकारी तत्काल पुलिस और उच्च अधिकारियों को प्रदान करने में मदद प्रदान करें।
यशवंत राव,मंडलायुक्त