संगोष्ठी में विद्वानों ने प्रस्तुत किए शोध

स्ष्द्धश्रद्यड्डह्मह्य श्चह्मद्गह्यद्गठ्ठह्लद्गस्त्र ह्मद्गह्यद्गड्डह्मष्द्ध द्बठ्ठ ह्मद्गह्यद्गड्डह्मष्द्ध ह्यद्गद्वद्बठ्ठड्डह्म

By JagranEdited By: Publish:Mon, 08 Aug 2022 08:28 PM (IST) Updated:Mon, 08 Aug 2022 08:28 PM (IST)
संगोष्ठी में विद्वानों ने प्रस्तुत किए शोध
संगोष्ठी में विद्वानों ने प्रस्तुत किए शोध

संगोष्ठी में विद्वानों ने प्रस्तुत किए शोध

मेरठ, जेएनएन। स्वामी संर्पूणानन्द वैदिक शोध संस्थान तथा उत्तर प्रदेश संस्कृत संस्थान के संयोजन में टीकरी के गुरुकुल प्रभात आश्रम में आहूत शोध संगोष्ठी का सोमवार को समापन हो गया। टीकरी के गुरुकुल प्रभात आश्रम में स्वामी संर्पूणानन्द वैदिक शोध संस्थान तथा उत्तर प्रदेश संस्कृत संस्थान द्वारा दो दिवसीय शोध संगोष्ठी का आयोजन किया गया। जिसमें देश के अलग-अलग स्थानों से आए विद्वानों ने भाग लिया। प्रो. राणी सदाशिव मूर्ति ने सृष्टि प्रक्रिया विज्ञान पर अपना शोध-पत्र प्रस्तुत किया। डा.भावप्रकाश गांधी ने वेदों में कृषि विज्ञान के स्वरूप से परिचय कराया। प्रो. रामनाथ झा ने वेदों के वैज्ञानिक स्वरूप पर प्रकाश डाला। डा. अरविंद कुमार ने भौतिक शास्त्र पर दर्शनों के प्रभाव को स्पष्ट किया। आचार्य कन्हैयालाल पाराशर ने आकाश तत्व के वैज्ञानिक स्वरूप को प्रकट किया। गुरुकुल प्रभात आश्रम के कुलाधिपति स्वामी विवेकानन्द सरस्वती ने अपने आशीर्वचनों से शोध संगोष्ठी का समापन किया।

chat bot
आपका साथी