Valentine Week-Promise Day : सात फेरों में लिए वचनों का निभा रहे वादा

वेलेंटाइन डे वीक में प्रॉमिस डे के मौके पर कुछ ऐसे ही कपल ने साझा किए अपने अनुभव।

By Anurag GuptaEdited By: Publish:Tue, 11 Feb 2020 11:09 AM (IST) Updated:Tue, 11 Feb 2020 03:15 PM (IST)
Valentine Week-Promise Day : सात फेरों में लिए वचनों का निभा रहे वादा
Valentine Week-Promise Day : सात फेरों में लिए वचनों का निभा रहे वादा

लखनऊ, (कुसुम भारती)। वादा करना तो आसान होता है पर उसे निभाना एक मुश्किल टास्क होता है। कुछ ऐसे ही वादे शादी में सात फेरों के वक्त वर-वधू एक-दूसरे से सात वचन के रूप में करते हैं। जाहिर है, कई बार उन सात वचनों या वादों को निभाते वक्त कुछ मुश्किलें भी आती होंगी। ऐसे में पति-पत्नी कैसे निभाते हैं उन वादों को। 

प्रॉमिस पर टिकी है रिश्तों की बुनियाद

सिंगर अनुपमा राग कहती हैं, समर्पण और वफादारी ही एक रिश्ते की मांग होती है। शादी के बाद प्यार अनकंडीशनल हो जाता है। 'मेरा-तुम्हारा' खत्म हो जाता है सिर्फ 'हमारा' रह जाता है। इसी से जिंदगी शुरू होती है और इसी पर खत्म होती है। अगर आप एक-दूसरे को समझते हैं तो अपने हर वादे को निभाते हैं। पहले की तरह अब वह लॉयल्टी नहीं रह गई है, लोग बहुत जल्दी पार्टनर बदल देते हैं जबकि रिश्ते बनाना तो आसान है पर उनको निभाना ही असली इम्तिहान है। किसी भी रिश्ते की बुनियाद प्रॉमिस पर ही टिकी होती है। मेरी शादी को पंद्रह साल हो गए हैं मगर आज भी हम उस वादे को पूरी शिद्दत से निभा रहे हैं।

सुख-दुख में साथ निभाना ही वादा

गृहिणी र‍िंंकी राजपाल कहती हैं, मेरी शादी को दस साल हो गए। मेरे लिए वेलेंटाइन वीक बहुत खास है। वहीं, प्रॉमिस डे बहुत बड़ी चीज होती है। प्रॉमिस का मतलब होता है विश्वास जो हर कोई नहीं निभा पाता। शादी के समय किए गए वादे को ईमानदारी के साथ निभाना ही सही मायनों में प्रॉमिस डे है। पति-पत्नी सुख हो या दुख हर मौके पर एक-दूसरे का साथ दें यह जरूरी होता है। आज के दौर में लोगों के लिए पैसा बड़ी चीज है। जब पैसा होता है तो बहुत से दोस्त बनते हैं, मगर पति-पत्नी का रिश्ता ही एक ऐसा रिश्ता होता है जो पैसों से नहीं प्यार से बनता है।

प्रेम संग सम्मान भी जरूरी

प्राइवेट सेक्टर में जॉब कर रहे पंकज शर्मा कहते हैं, मेरी शादी को दस साल हो रहे हैं। प्रामिस डे के खास अवसर पर मैं हर बार प्रतीक्षा से यही वादा करता हूं कि उनका सम्मान मेरे लिए सर्वोपरि है। प्रेम तभी संपूर्ण होता है जब आप पत्नी को पूरा सम्मान भी दें। एक-दूसरे से हमारा यह भी वादा है कि जिम्मेदारियां चाहे जितनी भी बढ़ें एक-दूसरे के लिए प्यार और आदर उससे सौ गुना अधिक होगा तभी प्यार हमेशा जवां रहेगा। हर रिश्ते की मांग भी यही होती है।

अपनी गलती का करें अहसास

एक निजी कंपनी में कार्यरत काव्या दुबे कहती हैं, 19 अप्रैल को मेरी शादी का एक साल पूरा होगा। शादी के समय साकेत और मैंने एक-दूसरे से सिर्फ एक प्रॉमिस किया था कि कभी भी हमारे बीच कोई भी बात, कहासुनी या प्रॉब्लम हो तो उसे हम दोनों उसी दिन सुलझाएंगे। दूसरे दिन उसे बिल्कुल भी कैरी नहीं करेंगे। इतने महीनों में आज तक हम उस वादे को निभा रहे हैं। कभी हम-दोनों में कोई अनबन होती भी है तो एक-दूसरे से सॉरी बोलने में कोई शर्म नहीं होती। साकेत भी कभी चॉकलेट, केक, ग्रीटिंग देकर मुझे मना लेते हैं। 

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