अवश्य::श्रीराम-भरत मिलाप प्रसंग सुन भाव विभोर हुए श्रद्धालु

नोट::फोटो भी है -चिनहट में चल रही श्रीराम कथा संवाद सूत्र ,लखनऊ: सुनहरी रोशनी से

By JagranEdited By: Publish:Sun, 17 Dec 2017 08:44 PM (IST) Updated:Sun, 17 Dec 2017 08:44 PM (IST)
अवश्य::श्रीराम-भरत मिलाप प्रसंग सुन भाव विभोर हुए श्रद्धालु
अवश्य::श्रीराम-भरत मिलाप प्रसंग सुन भाव विभोर हुए श्रद्धालु

नोट::फोटो भी है

-चिनहट में चल रही श्रीराम कथा

संवाद सूत्र ,लखनऊ : सुनहरी रोशनी से नहाए पंडाल में श्रीराम कथा मर्मज्ञ प्रेम भूषण महाराज के कृपापात्र कथाचार्य राजन जी महाराज ने शनिवार को श्रीराम-भरत मिलाप का हृदय विदारक दृश्य का वर्णन किया तो श्रोता भाव विभोर हो उठे।

चिनहट के मल्हौर स्टेशन रोड पर चल रही श्रीराम कथा के सातवें दिन रविवार को कथाचार्य ने संगीतमयी श्रीराम कथा के माध्यम से श्रीराम चरित मानस के श्रीराम वनागमन प्रसंग का वर्णन कर श्रद्धालुओं को कष्ट के दौर में खुशी के पल को तलाशने की जद्दोजहद को बताने का भी सफल प्रयास किया। भरत-निषाद मिलन और भरत के प्रयाग एवं चित्रकूट का प्रसंगों का वर्णन कर श्रद्धालुओं को मंत्रमुग्ध कर दिया। कथाचार्य ने कहा कि पिता की आज्ञा का पालन अनुचित व उचित मानकर नहीं करना चाहिए। पिता की आज्ञा ही सर्वोपरी होती है। भगवान श्रीराम ने भी अपने पिता महाराजा दशरथ की आज्ञा को बगैर उचित अनुचित सोचे उसका पालन किया। श्रीराम के गुणों का बखान कर कथाचार्य ने कहा कि हमे जीवनभर राम नाम का जाप करना चाहिए। श्रीराम कथा हमे जीवन जीने की कला सिखाती है। श्रीराम कथा मंडल चिनहट के राजेश जायसवाल ने बताया कि 19 दिसंबर तक चलने वाली कथा प्रतिदिन शाम पांच से नौ बजे तक चलेगी।

कथा श्रवण से दूर होते हैं कष्ट

श्री शिव श्याम मंदिर समिति की ओर से सदर के हाता रामदास में चल रही श्रीमद्भागवत कथा के दूसरे दिन रविवार को कथाचार्य रामकुमार दास ने कहा कि कलियुग में श्रीमद्भागवत महापुराण श्रवण करने मात्र से ही सारे दु:ख दूर हो जाते हैं। उन्होंने कल्पवृक्ष की महिमा का बखान भी किया। उन्होंने कहाकि श्रीमद्भागवत कथा तो दिव्य कल्पतरु है यह अर्थ, धर्म, काम के साथ साथ भक्ति और मुक्ति प्रदान करके जीव को परम पद पर पहुंचाता है। संयोजक राजेंद्र कुमार पांडेय 'गुरुजी' ने बताया कि कथा 23 दिसंबर तक तक प्रतिदिन दोपहर तीन बजे से शाम 6:30 बजे तक होगी।

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