सपा घमासानः सत्ता और संगठन की रार में बढ़ती दिखीं कुछ नई दरारें

समाजवादी कुनबे में सत्ता और संगठन की रार में आज एक और दरार नजर आई। यश भारती वितरण के मौके पर सपा मुखिया मुलायम सिंह यादव मौजूद नहीं रहे।

By Nawal MishraEdited By: Publish:Thu, 27 Oct 2016 06:25 PM (IST) Updated:Fri, 28 Oct 2016 05:24 PM (IST)
सपा घमासानः सत्ता और संगठन की रार में बढ़ती दिखीं कुछ नई दरारें

लखनऊ (जेएनएन)। समाजवादी कुनबे में सत्ता और संगठन के बीच छिड़ी रार में आज एक और दरार नजर आई। यश भारती वितरण के मौके पर सपा मुखिया मुलायम सिंह यादव मौजूद नहीं रहे। दरअसल, ऐसा पहली बार हुआ। मुलायम सिंह ने ही 1994-95 में यश भारती पुरस्कार का शुभारंभ किया था। उसके बाद जब-जब पुरस्कार बंटा मुलायम उसमें मौजूद रहे हैं। राजनीतिक गलियारों में इसे सत्ता और संगठन के बीच बढ़ी रार की दरार ही माना जा रहा है।

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मुलायम ने बनाई दूरी

मुलायम सिंह यादव ने जिस यश भारती पुरस्कार को शुरू किया था उसके वितरण से दूर रहकर सब ठीक है-हम एकजुट हैं के दावे को खुद ही झूठा कर दिया है। हालांकि मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने विभूतियों को सम्मानित करते हुए मुलायम को कई बार याद किया। यह उनकी सदाशयता से अधिक उत्तराधिकार दर्शाने का प्रयास हो सकता है क्योंकि वह चाचा शिवपाल और अमर सिंह के खिलाफ मुखर मोर्चा खोल चुके हैं। कहा जा रहा है कि सरकार और संगठन के बीच के मतभेद के चलते ही लखनऊ के विक्रमादित्य मार्ग स्थित आवास पर मौजूद होने के बाद भी मुलायम सिंह ने यश भारती सम्मान समारोह में हिस्सा लेने से गुरेज किया।

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सपा से दंडितों को सरकार में काम

सपा एमएलसी आशु मलिक की पिटाई करने वाले मंत्री पवन पांडेय का मामला भी सत्ता और संगठन की राहें अलग-अलग दर्शाता है। पवन को सपा से निकालने की घोषणा में मुलायम सिंह की सहमति थी जिसकी जानकारी प्रदेश अध्यक्ष शिवपाल यादव ने पत्र के जरिये भेजी मगर मुख्यमंत्री ने उसका संज्ञान नहीं लिया। इससे दावों से इतर हालात ऐसे नजर आ रहे हैं। प्रस्तावित रथयात्रा के लिए बुलाई बैठक में अखिलेश यादव के विश्वस्त आगे आगे रहे। विभिन्न शहरों में आयोजन का जिम्मा उन्हीं सुनील यादव साजन, आनंद भदौरिया, संजय लाठर, अरविंद यादव के कंधे पर है जिन्हें पार्टी निष्कासित कर चुकी है।

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शिवपाल ने किए ताजा प्रहार

सहारनपुर में एक कार्यक्रम में अपने बेटे के साथ पहुंचे सपा प्रदेश अध्यक्ष शिवपाल यादव यहां जनसभा में भीड़ देखकर काफी उत्साहित दिखे और इशारों-इशारों में मुख्यमंत्री पर कई प्रहार किये। उन्होंने कहा कि युवाओं को नौकरी और रोजगार देना सरकार का काम है। यहां के दर्जनों गांव के किसान 18 वर्ष से सिंचाई के लिए नहर का पानी मांग रहे हैं। मैं मंत्री होता तो 24 घंटे में पानी दे दिया जाता लेकिन अब मेरे हाथ में कुछ नहीं है।

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