अति पिछड़े जिलों की प्रगति जानेंगे PM नरेंद्र मोदी, छह को मुख्य सचिव के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ होने वाली वीडियो कांफ्रेंसिंग की तैयारियों को लेकर मुख्य सचिव राजेंद्र कुमार तिवारी ने संबंधित विभागों के अधिकारियों के साथ बैठक की।

By Dharmendra PandeyEdited By: Publish:Sun, 03 Nov 2019 04:55 PM (IST) Updated:Sun, 03 Nov 2019 04:58 PM (IST)
अति पिछड़े जिलों की प्रगति जानेंगे PM नरेंद्र मोदी, छह को मुख्य सचिव के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग
अति पिछड़े जिलों की प्रगति जानेंगे PM नरेंद्र मोदी, छह को मुख्य सचिव के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग

लखनऊ, जेएनएन। केंद्र सरकार देश में आकांक्षात्मक (अति पिछड़े) जिलों की प्रगति आकंने की योजना पर काम कर रही है। इस मोर्चा पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आगे आ गए हैं।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी छह नवंबर को सभी राज्यों के मुख्य सचिवों के साथ वीडियो कांफ्रेंसिंग करेंगे। प्रधानमंत्री के साथ होने वाली वीडियो कांफ्रेंसिंग की तैयारियों को लेकर मुख्य सचिव राजेंद्र कुमार तिवारी ने संबंधित विभागों के अधिकारियों के साथ बैठक की।

नीति आयोग ने देश में 112 आकांक्षात्मक जिले चिह्नित किये हैं। इनमें से आठ जिले उप्र के हैं जिनमें बलरामपुर, श्रावस्ती, सिद्धार्थनगर, बहराइच, चंदौली, सोनभद्र, फतेहपुर और चित्रकूट शामिल हैं। आकांक्षात्मक जिलों के विकास के लिए नीति आयोग ने 49 संकेतकों पर आधारित पांच कोर सेक्टर चिह्नित किये हैं जिनमें स्वास्थ्य एवं पोषण, शिक्षा, कृषि एवं जल संसाधन, वित्तीय समावेशन व कौशल विकास और बुनियादी ढांचा शामिल हैं। प्रधानमंत्री के साथ होने वाली वीडियो कांफ्रेंसिंग में राज्य सरकार मार्च 2018 से लेकर अब तक इन आठों जिलों में प्राथमिक शिक्षा, स्वास्थ्य, पोषण, कृषि, कौशल विकास और बुनियादी ढांचा के क्षेत्रों में हुए सुधार का लेखा-जोखा रखेगी।

स्मार्ट सिटी की सुस्त प्रगति पर केंद्रीय सचिव नाराज

केंद्रीय आवास एवं शहरी मामलों के सचिव दुर्गा शंकर मिश्र ने प्रदेश मेें स्मार्ट सिटी की सुस्त प्रगति पर नाराजगी जताई। उन्होंने स्मार्ट सिटी के मिशन निदेशक राजीव शर्मा से पूछा क्या आपको शहरों में कोई बदलाव नजर आ रहा है। जब आपको कोई बदलाव नहीं लग रहा है तो फिर आम जनता को कैसे नजर आएगा। सचिव ने अमृत योजना के सभी काम समय पर पूरा करने के निर्देश दिए। केंद्रीय सचिव शनिवार को लखनऊ में यूपी में चल रही केंद्रीय योजनाओं की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने केंद्रीय योजनाओं की सुस्त प्रगति पर नाराजगी भी जताई। उन्होंने कहा अटल मिशन फॉर रिजुवनेशन एंड अर्बन ट्रांसफारमेशन (अमृत) योजना के कार्यों में भी कई जगह से शिकायतें आ रही हैं। इसे दुरुस्त किया जाए।

हर हाल में सभी काम वर्ष 2020 तक खत्म कर लिए जाएं। हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि उनकी कोशिश है कि अमृत योजना का समय यूपी में तीन साल और बढ़ जाए। स्वच्छ भारत मिशन की समीक्षा करते हुए कहा कि नगरीय निकाय ओडीएफ होने के बाद अब यह देखा जाए कि जिन घरों में शौचालय बने हैं, वहां पर उसका इस्तेमाल हो रहा है या नहीं। स्वच्छ भारत मिशन के निदेशक अनुराग यादव से कहा कि स्वच्छ सर्वेक्षण में यूपी के शहरों की अच्छी रैकिंग लाने के लिए इंदौर मॉडल अपनाया जाए। प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी के बारे में केंद्रीय सचिव ने कहा कि जो मकान शहरों में बन रहे हैं उनकी गुणवत्ता ठीक नहीं है। इसे तत्काल सुधारा जाए। इसमें लापरवाही बरतने वाले अफसरों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए।  

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