पानी से लेकर हवा तक घुला प्रदूषण का जहर
लाकडाउन में वातावरण से लेकर पानी तक साफ हो गया। प्रदूषण काफी कम
कासगंज, संजय धूपड : लाकडाउन में वातावरण से लेकर पानी तक साफ हो गया। प्रदूषण काफी कम हुआ, लेकिन जैसे जैसे अनलाक में गतिविधियां बढ़ती जा रही हैं, वहीं प्रदूषण भी बढ़ा है। काली नदी के पानी में आक्सीजन की मात्रा काफी कम हो गई है। वहीं वातावरण में छाई धुंध के कारण गुणवत्ता सूचकांक में तेजी के साथ बढ़ोतरी हो रही है। मार्च माह में जब कोरोना को लेकर लाकडाउन लगा तो अप्रैल माह में प्रदूषण भी कम को गया। औद्योगिक इकाइयां बंद होने के कारण सीवरेज का पानी काली नदी में नहीं गिरा और वाहनों के बंद रहने एवं निर्माण कार्याें पर रोक लग जाने के कारण वातावरण में धुंध कम हुई। जिससे काली नदी के पानी से लेकर वातावरण तक का प्रदूषण कम हो गया।
अब धीमे धीमे अनलाक शुरू हुआ है तो फिर प्रदूषण तेजी के साथ बढ़ने लगा है। काली नदी का पानी भी प्रदूषित हो गया है। प्रदूषण के कारण यहां हजारों मछलियां पिछले दिनों मरी थीं। वातावरण में भी धुंध छाई हुई है।
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प्रदूषण पर एक नजर :
लाकडाउन
50 माइक्रो ग्राम प्रति घन मीटर तक पहुंच गया था वायुगुणवत्ता सूचकांक
10 मिलीग्राम थी काली नदी के पानी में डिजोल्वड आक्सीजन की मात्रा
2 मिली ग्राम थी बायोलाजीकल आक्सीजन की मात्रा
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अनलाक :
185 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर तक पहुंच गया वायु गुणवत्ता सूचकांक
2 मिलीग्राम तक रह गई काली नदी के पानी में डिजोल्वड आक्सीजन की मात्रा
12 मिलीग्राम तक पहुंच गई है, काली नदी की बायोलाजीकल आक्सीजन की मात्रा
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अनलाक में औद्योगिक एवं अन्य गतिविधियां बंद थीं। इससे प्रदूषण कम हुआ, लेकिन जैसे जैसे गतिविधियां बढ़ रहीं हैं उससे वातावरण और पानी में मात्रा में असंतुलन हो रहा है। जिससे प्रदूषण बढ़ा हुआ है।
- रामगोपाल, क्षेत्रीय अधिकारी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड