शहीद कैप्टन आयुष यादव के अंतिम संस्कार में उमड़ा जनसैलाब

अंतिम यात्रा में शामिल लोगों का कहना था कि वो हमारा ही नहीं पूरे देश का लाड़ला था, उस पर हमें ही नहीं पूरे देश को गर्व था। मैंने देश के लिए अपना बेटा न्यौछावर कर दिया।

By Dharmendra PandeyEdited By: Publish:Sat, 29 Apr 2017 10:32 AM (IST) Updated:Sat, 29 Apr 2017 11:25 AM (IST)
शहीद कैप्टन आयुष यादव के अंतिम संस्कार में उमड़ा जनसैलाब
शहीद कैप्टन आयुष यादव के अंतिम संस्कार में उमड़ा जनसैलाब

कानपुर (जेएनएन)। जम्मू-कश्मीर के कुपवाड़ा में आतंकी हमले में शहीद आयुष यादव की अंतिम यात्रा में आज जनसैलाब उमड़ पड़ा। सभी ने नम आंखों से अपने शहर के लाल को अंतिम विदाई दी।

अंतिम यात्रा में शामिल लोगों का कहना था कि वो हमारा ही नहीं पूरे देश का लाड़ला था, उस पर हमें ही नहीं पूरे देश को गर्व था। मैंने देश के लिए अपना बेटा न्यौछावर कर दिया। यह बातें जैसे ही शहीद कैप्टन आयुष यादव की अंतिम यात्रा के दौरान जो भी सुनता उसकी आंखों से आंसुओं का सैलाब उमड़ पड़ा।

यह भी पढ़ें: शहीद कैप्टन की मां बोली, 'मुझे बम ला दो, मैं दुश्मनों पर गिरा दूं'

कानपुर के इस लाल की अंतिम यात्रा में सड़क पर लोगों का हुजूम उमड़ पड़ा। इस दौरान परिवार वालों का रो-रोकर बुरा हाल था, वहीं शहीद को पूरे सैन्य सम्मान के साथ अंतिम विदाई दी गई।

कल उनके आवास पर पहुंचकर पूर्व मुख्यमंत्री तथा समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव शहीद आयुष यादव के घर पहुंचे थे। अखिलेश ने शहीद के परिवार वालों से मिलकर उन्हें सांत्वना दी थी।

यह भी पढ़ें: शहीद के पिता ने पूछा- कब तक देश अपने बेटों को ऐसे ही खोता रहेगा

गौरतलब है कि गुरुवार को फिदायीन हमले में कैप्टन आयुष (26) शहीद हो गए वह कुछ वर्षों पहले ही सेना में कमीशंड हुए थे। इस हमले में कैप्टन आयुष के साथ एक जूनियर कमांडिंग ऑफिसर (जेसीओ) और एक जवान और भी शहीद हो गया था। शहीद आयुष का परिवार 165, डिफेंस कॉलोनी जाजमऊ में रहता है। इनके परिवार मे पिता अरुण कांत यादव, माता सरला यादव और बहन रूपल यादव हैं।

यह भी पढ़ें: केंद्र सरकार की रक्षा नीति में खोट के कारण मारे जा रहे सैनिक : अखिलेश

कैप्टन आयुष इस वर्ष किसी आतंकी हमले में शहीद होने वाले भारतीय सेना के दूसरे अधिकारी हैं। उनसे पहले फरवरी में दाहिया हंदवाड़ा में हुए एक एनकाउंटर में मेजर सतीश शहीद हो गए थे।

chat bot
आपका साथी