एक सप्ताह बाद डीएफसी पर दौड़ीं मालगाडिय़ां, दुर्घटना वाली जगह एक किमी पर लगा काशन

इटावा से 25 किमी दूर जसवंतनगर व बलरई रेलवे स्टेशन के बीच भारद्वाजपुरा गांव के पास खुर्जा से कानपुर जा रही मालगाड़ी जेएसएलएस के 17 ओपन वैगन पटरी से उतर गए थे। इसके बाद मालगाड़ियों को नई दिल्ली हावड़ा रूट पर डायवर्ट कर दिया गया था।

By Abhishek AgnihotriEdited By: Publish:Mon, 30 Aug 2021 09:52 AM (IST) Updated:Mon, 30 Aug 2021 09:52 AM (IST)
एक सप्ताह बाद डीएफसी पर दौड़ीं मालगाडिय़ां, दुर्घटना वाली जगह एक किमी पर लगा काशन
डीएफसी पर हादसे के बाद से बंद थे अप और डाउन ट्रैक।

इटावा, जेएनएन। मालगाड़ी दुर्घटना के बाद से बंद डेडीकेटेड फ्रेट कारिडोर (डीएफसी) रविवार देर शाम से चालू हो गया है। दो मालगाडिय़ों को 20 किमी प्रतिघंटा की रफ्तार से निकाला गया। वहीं ग्राम भारद्वाजपुरा के पास एक किमी का काशन लगाया गया है, अभी कुछ कार्य बाकी है, जिसे पूरा कराया जा रहा है। डीएफसी पर संचालन बंद होने के बाद मालगाड़ियों को दिल्ली-हावड़ा रेल रूट पर डायवर्ट कर दिया गया था। वहीं मालगाड़ी दुर्घटना की जांच सात सदस्यी कमेटी कर रही है।

नई दिल्ली हावड़ा रेल रूट पर यात्री ट्रेन और मालगाड़ियों का संचालन होने से लेट लतीफी की समस्या थी। इसके चलते केंद्र सरकार की पहल पर डेडीकेटेड फ्रेट कॉरीडोर बनाया जा रहा है, इसमें खुर्जा से कानपुर भाऊपुर तक ट्रैक बन चुका है, जिसपर मालगाड़ियों का संचालन जारी है। इससे नई दिल्ली हावड़ा रेल रूट पर रेलवे स्टेशन पर मालगाड़ी को ग्रीन सिग्नल न मिलने की समस्या भी खत्म हो चुकी है। डीएफसी पर बिना रुकावट मालगाड़ी का संचालन हो रहा था लेकिन बीते सोमवार की शाम डाउन ट्रैक पर इटावा से 25 किमी दूर जसवंतनगर व बलरई रेलवे स्टेशन के बीच भारद्वाजपुरा गांव के पास खुर्जा से कानपुर जा रही मालगाड़ी जेएसएलएस के 17 ओपन वैगन पटरी से उतर गए थे। खंभा नंबर 651/23 से लेकर 651/52 के बीच हुए हादसे में आठ वैगन बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गए थे, जबकि नौ पलट गए थे। इसके साथ ही करीब आधा किमी तक पटरी उखड़ गई थी। इसके बाद डीएफसी पर मालगाड़ी का संचालन बंद कर दिया गया था।

नई दिल्ली हावड़ा ट्रैक पर डायवर्ट किया था यातायात

डीएफसी पर अप व डाउन लाइन पर संचालन बंद होने से मालगाडिय़ों को दिल्ली-हावड़ा रूट पर डायवर्ट कर दिया गया था। वहीं कानपुर, टूंडला और प्रयागराज से आई 250 कर्मियों की टीम स्लीपर व पटरी बिछाने के काम में जुट गई थी। हादसे में कुछ ओएचई के पोल भी क्षतिग्रस्त हुए थे। कानपुर व आगरा से 140 टन की विशेष क्रेन मंगाई गई, जिसकी मदद से कर्मचारियों ने तीन शिफ्ट में काम करने के बाद रविवार की शाम डीएफसी का ट्रैक बहाल कर दिया गया है।

हादसे की जांच के लिए कमेटी गठित

हादसे की जांच के लिए रेलवे के अलग-अलग विभागों के विशेषज्ञों की सात सदस्यीय कमेटी गठित की गई है। इसमें कमेटी पता लगाएगी कि मालगाड़ी के वैगन आखिर किस वजह से पलट गए थे। जांच रिपोर्ट के आधार पर कमियों को दूर किया जाएगा। डीएफसी के अधिशासी निदेशक अजय कुमार ने बताया कि पटरियां बिछाने के साथ ही ट्रैक को पूरी तरह यातायात चालू कर दिया गया। भारद्वाजपुरा के पास एक किमी का काशन है, अभी कुछ कार्य बाकी है, जो जल्द पूरा हो जाएगा।

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