बिना बजट 280 होम्योपैथिक शिक्षकों की तैनाती
सरकार के हुक्मरानों का कारनामा देखिए। बगैर बजट के सूबे के नौ राजकीय होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेजों में संविदा पर 280 शिक्षकों की तैनाती कर दी।
ऋषि दीक्षित, कानपुर : सरकार के हुक्मरानों का कारनामा देखिए। बगैर बजट के सूबे के नौ राजकीय होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेजों में संविदा पर 280 शिक्षकों की तैनाती कर दी। इनमें कानपुर के पं. जवाहर लाल नेहरू राजकीय होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेज के भी 33 शिक्षक शामिल हैं जो बगैर वेतन के चार माह से सेवाएं दे रहे हैं। अफसरों की लापरवाही से उनकी दीपावली फीकी रह गई।
सूबे के आयुष मंत्रालय के अधीन आने वाले नौ राजकीय होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेज शिक्षकों की कमी से जूझ रहे थे। इस समस्या से अवगत होने के बाद मंत्रालय ने संविदा पर शिक्षकों की नियुक्ति करने का निर्णय लिया। होम्योपैथिक निदेशक के माध्यम से सभी कॉलेजों के प्राचार्य से पदों का ब्योरा मांगा गया। संविदा पर प्रोफेसर, रीडर एवं प्रवक्ता के 280 पदों पर आवेदन आमंत्रित किए गए। जून 2018 के अंतिम सप्ताह में सभी नौ कॉलेजों में तैनाती की गई। जुलाई 2018 में शिक्षकों ने अपना योगदान दिया। जुलाई से अभी तक उन्हें वेतन नहीं मिला है।
वेतन के बजट की स्वीकृति नहीं
इन शिक्षकों के वेतन की वित्तीय स्वीकृति शासन से नहीं मिली है। इसलिए उन्हें वेतन का भुगतान नहीं हो सका है।
मध्य प्रदेश व राजस्थान के हैं शिक्षक
संविदा पर तैनात शिक्षकों में अधिकतर मध्य प्रदेश एवं राजस्थान के हैं। वहां निजी होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेज में कार्यरत थे। सरकारी नौकरी के फेर में यहां ज्वाइन कर लिया। अब वेतन नहीं मिलने से उन्हें एवं उनके परिवार को दिक्कत हो रही है।
यहां हैं कॉलेज
लखनऊ, कानपुर, इलाहाबाद, फैजाबाद, गाजीपुर, आजमगढ़, गोरखपुर, अलीगढ़, मुरादाबाद।
नियुक्ति पर एक नजर
09 सूबे में होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेज
280 चिकित्सा शिक्षकों की हुई नियुक्ति
33 कानपुर में हैं तैनात, इसमें 07 प्रोफेसर
11 रीडर, 15 प्रवक्ता।
बोले जिम्मेदार
शासन स्तर से कुछ तकनीकी गड़बड़ी हो गई है, इसलिए संविदा शिक्षकों को चार माह से वेतन नहीं मिल सका। इसके लिए प्रस्ताव भेजा है। दीपावली के बाद भुगतान कराने का प्रयास कर रहे हैं।
- डॉ. अरविंद कुमार वर्मा, प्राचार्य, पं. जेएल नेहरू राजकीय होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेज।