रामजानकी मंदिर की जमीन पर बाबा बिरयानी रेस्टोरेंट खड़ा करने वाला मुख्तार बोला- आबिद रहमान से ली थी संपत्ति

कानपुर के बेकनगंज में रामजानकी मंदिर की जमीन पर बाबा बिरयानी नाम से रेस्टोरेंट बनाने वाले मुख्तार बाबा से पुलिस ने पूछताछ की। शत्रु संपत्ति के प्रभारी अधिकारी ने मामले में पांच लोगों को पक्ष रखने के लिए बुलाया था लेकिन सिर्फ दो लोग ही आए।

By Abhishek AgnihotriEdited By: Publish:Tue, 21 Jun 2022 11:54 AM (IST) Updated:Tue, 21 Jun 2022 11:54 AM (IST)
रामजानकी मंदिर की जमीन पर बाबा बिरयानी रेस्टोरेंट खड़ा करने वाला मुख्तार बोला- आबिद रहमान से ली थी संपत्ति
मुख्तार बाबा से शत्रु संपत्ति के प्रभारी अधिकारी ने की पूछताछ।

कानपुर, जागरण संवाददाता। रामजानकी मंदिर ट्रस्ट की जमीन पर कब्जा कर उस पर बाबा बिरयानी रेस्टोरेंट खड़ा करने वाले मुख्तार बाबा ने शत्रु संपत्ति के प्रभारी अधिकारी और चीफ सुपरवाइजर के सामने अपना जवाब रखा। कहा, कि संपत्ति आबिद रहमान से खरीदी थी। उसने आबिद को भारतीय बताते हुए संपत्ति शत्रु न होने की दलील दी हालांकि अधिकारी उसके तर्कों से संतुष्ट नहीं हैं।

जिला प्रशासन ने तीन संपत्तियों को शत्रु संपत्ति चिह्नित किया था, इसमें बेकनगंज के डा. बेरी चौराहा स्थित रामजानकी मंदिर ट्रस्ट, नाला रोड स्थित दारूल मौला और हीरामन का पुरवा स्थित बशीर स्टेट की संपत्तियां शामिल हैं। रामजानकी मंदिर ट्रस्ट की जमीन को धोखाधड़ी कर और मंदिर परिसर और दुकानों को तोड़कर यहां बाबा बिरयानी समेत दो रेस्टोरेंट संचालित हो रहे हैं, जबकि अन्य संपत्तियों पर भी मुख्तार बाबा का कब्जा है। इसके साथ ही 32 लोग और हैं, जो यहां काबिज हैं।

इन सभी को नोटिस जारी किया गया था, जिसमें से 20 लोगों ने जवाब दिए हैं, जबकि 12 की ओर से न तो कोई जवाब प्रशासन को दिया गया और न ही शत्रु संपत्ति अभिरक्षक को। मामले की अब सुनवाई शुरू हो चुकी है, जो 25 जून तक लगातार चलेगी। पहले दिन सोमवार को कलेक्ट्रेट सभागार में जिलाधिकारी विशाख जी, शत्रु संपत्ति के चीफ सुपरवाइजर शैलेंद्र नाथ और प्रभारी अधिकारी दीपक पाल ने सुनवाई शुरू की। मुख्तार बाबा की ओर से कहा गया कि संपत्ति आबिद रहमान से खरीदी थी, जो भारतीय थे।

इसके साथ ही अन्य लोग भी भारतीय थे। इसलिए उसकी संपत्ति शत्रु नहीं है। वहीं, दूसरा जवाब शान मोहम्म्द की ओर से दिया गया, जिसमें हाईकोर्ट के आदेश का हवाला देते हुए जवाब के लिए दस्तावेजों का परीक्षण करने की मांग की गई है। चीफ सुपरवाइजर इन जवाबों से संतुष्ट नहीं दिखे। हालांकि, अभी और भी लोगों के जवाब पर सुनवाई होगी।

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