बरेली जंक्शन में डीप फ्रिजर में रेलनीर की रखी खाली बोतलें देख कर बोले एडीआरएम, कहीं दोबारा तो नहीं भरवा लेते Bareilly News

मुरादाबाद मंडल के एडीआरएम मान सिंह मीना राज्यरानी से बुधवार सुबह 11 बजे बरेली जंक्शन पहुंचे। निरीक्षण को लेकर स्टेशन स्टाफ की तैयारियां पूरी थी।

By Ravi MishraEdited By: Publish:Thu, 13 Feb 2020 09:06 PM (IST) Updated:Thu, 13 Feb 2020 09:06 PM (IST)
बरेली जंक्शन में  डीप फ्रिजर में रेलनीर की रखी खाली बोतलें देख कर बोले एडीआरएम, कहीं दोबारा तो नहीं भरवा लेते Bareilly News
बरेली जंक्शन में डीप फ्रिजर में रेलनीर की रखी खाली बोतलें देख कर बोले एडीआरएम, कहीं दोबारा तो नहीं भरवा लेते Bareilly News

जेएनएन, बरेली : मुरादाबाद मंडल के एडीआरएम मान सिंह मीना राज्यरानी से बुधवार सुबह 11 बजे बरेली जंक्शन पहुंचे। निरीक्षण को लेकर स्टेशन स्टाफ की तैयारियां पूरी थी, लेकिन एडीआरएम पूरा दिन रेलवे चिकित्सालय, प्लेटफार्म, सर्कुलेटिंग एरिया, पार्सल काउंटर, स्टैंड पर बताया। सुधार की गुंजाइश से लेकर खामियां मिलने पर उन्हें स्टाफ चेताया भी। देर शाम तक निरीक्षण जारी रहा।

एडीआरएम की निरीक्षण की शुरुआत भले ही प्लेटफार्म एक से हुई, लेकिन उन्होंने प्लेटफार्म नंबर दो-तीन पर खामियां देखने की शुरुआत की। यहां प्लेटफार्म पर केबिन ठीक से बिछाने के लिए कहा। एक फूड शॉप के डीप फ्रिजर को खुलवाया तो उससे में रेल नीर की खाली बोतले बरामद हुईं। उन्होंने स्टेशन अधीक्षक से पूछा कि इनकी जांच कराते रहिए। कही दोबारा न भरवा लेते हो। इन्हें क्रश करवाइए। प्लेटफार्म तीन पर काफी दूर तक पार्सल पड़े देखकर नाराजगी जाहिर की। उन्होंने गिनती शुरू कराई। कहा कि निर्धारित संख्या से अधिक होने पर पांच हजार जुर्माने की व्यवस्था है। सीआइटी ने उन्हें पार्सल के उतरने से लेकर पार्सल यान में चढऩे की जानकारी दी।

पीओएस मशीन है, चलानी नहीं आती : निरीक्षण में सामने आया कि फूड स्टॉल पर पीओएस मशीन जरूर हैं, लेकिन संचालक इनका इस्तेमाल नहीं करते। कई को इस्तेमाल आता ही नहीं। कार्मिशयल स्टाफ से स्टाफ को पीओएस मशीन के जरिए लेनदेन के निर्देश दिए। उन्होंने एक संचालक से रसीद निकालने के लिए कहा तो वह रसीद भी नहीं निकाल सका।

कूड़ा देखकर सीएचआई को किया तलब : प्लेटफार्म पर लगे डस्टबिन में कूड़ा देखकर सीएचआई को तलब किया। सीएचआई से पूछा ठेका किसका है। इसको तत्काल साफ कराइए। उन्हें प्लेटफार्म के टायलेट साफ सुथरे मिले।

ब्रिज और प्लेटफार्म पर मिली गंदगी : फुटओवर ब्रिज और प्लेटफार्म पर गंदगी मिली। उन्होंने सफाई करने वाले कर्मचारियों को आड़े हाथ लिया। यहां से वह आरक्षण काउंटर के पास पहुंचे। टिकट वेंडिंग मशीन पर बैठे कर्मचारी से कहा कि बदायूं तक का टिकट निकालकर दो। टिकट देखने के बाद कितने टिकट बनते हैं, कितने की बिक्री है। इसकी पूरी जानकारी ली।

इलेक्ट्रानिक स्क्रीन की जगह किसने फाइनल की : यही पर विज्ञापन के लिए इलेक्ट्रानिक स्क्रीन लगाई गई है। उन्होंने कहा कि इसकी जगह ठीक नहीं है। समिति में कौन लोग थे, जिन्होंने इसकी जगह को फाइनल किया।

ड्यूटी और उपस्थिति रजिस्टर मिले अधूरे : इसके बाद वह आरक्षण रूम के अंदर चले गए। स्टाफ से ड्यूटी और उपस्थिति रजिस्टर मंगवाए। एक दिन पहले के उपस्थिति रजिस्टर में कर्मचारियों के नाम थे, लेकिन हस्ताक्षर नहीं मिले। ड्यूटी रजिस्टर भी आधा अधूरा मिला। इसपर उन्होंने नाराजगी जाहिर की।

सर्कुलेटिंग एरिया में खड़े मिले आटो : आरक्षण काउंटर के बाद सर्कुलेटिंग एरिया में आटो के बेतरतीब खड़े होने। कार्यालय के बाहर की जगह पर स्टैंड बनाए जाने पर नाराजगी जाहिर की। उन्होंने जीआरपी थाने के पीछे बने हुए स्टैंड पर भी बाइकों के बारे में छानबीन करने के लिए आरपीएफ को कहा।

इलाज को एक नंबर पर ही लगवाए ट्रेन : रेलवे चिकित्सालय में पहुंचने के बाद डॉक्टर और स्टाफ के बारे में पूछताछ की। साथ ही जोर दिया कि बीमार को लेकर आने वाली ट्रेन को प्लेटफार्म एक या दो पर ही ब्लॉक किया जाए। ताकि इलाज मिल सके। दवाईयों की उपलब्धता के बारे में भी स्टाफ से पूछा।  

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