जागरूकता की निशानी बन स्वस्थ की जिंदगानी

जागरण संवाददाता औरैया कोरोना काल ने कईयों की जिंदगी छीनी तो कईयों को जीने का सल

By JagranEdited By: Publish:Sun, 24 Jan 2021 11:21 PM (IST) Updated:Sun, 24 Jan 2021 11:21 PM (IST)
जागरूकता की निशानी बन स्वस्थ की जिंदगानी
जागरूकता की निशानी बन स्वस्थ की जिंदगानी

जागरण संवाददाता, औरैया: कोरोना काल ने कईयों की जिंदगी छीनी तो कईयों को जीने का सलीका भी बताया। एक तरफ जहां जिला प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग लोगों को कोरोना महामारी से बचाव की अपील कर रहा था, तो दूसरी ओर कुछ लोग ऐसे थे जो अपनी दिनचर्या में बदलाव कर कोरोना को पनाह मांगने पर विवश कर दिया। ऐसे लोगों ने दैनिक जागरण से बातचीत में अपने विचार साझा किए। कोरोना नोडल अफसर डॉ. शिशिर पुरी ने बताया कि कोविड-19 को लेकर जिन लोगों ने गाइडलाइन का पालन किया है। चाहे वह किसी भी उम्र के व्यक्ति रहे हों। उन्होंने कोरोना को हरा दिया है। पहले चरण में स्वास्थ्य कर्मियों को वैक्सीन लगाई जा रही हैं। लेकिन सभी कोविड-19 से बचाव को लेकर नियमों का पालन अभी भी करना ही चाहिए।

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केस-1

शहर के होमगंज निवासी 70 वर्षीय जगमोहन गुप्ता वैसे भी मधुमेह बीमारी से ग्रसित हैं। थोड़ी सी चूक से वह दो सितंबर, 2020 को कोरोना संक्रमित हो गए। उन्होंने कोरोना को तो मात दी ही, अपनी अनियमित दिनचर्या को भी बदल दिया। अब वह ही नहीं,उनका पूरा परिवार भी सुबह उठकर टहलने के बाद योग करता है। जगमोहन अब पूरी तरह से स्वस्थ हैं। वह कहते हैं कि सतर्कता और योग से उनकी जिदगी आगे बढ़ गई है। केस-2

शहर के मोहल्ला हलवाई खाना निवासी 60 वर्षीय राम विष्णु बिश्नोई कोरोना संक्रमण की चपेट में आ गए थे। उनको संयुक्त जिला चिकित्सालय औरैया से 26 जुलाई को सैफई चिकित्सा हेतु रेफर किया गया था। उनके परिवारीजन काफी भयभीत थे। उनके शीघ्र स्वस्थ होने की ईश्वर से कामना कर रहे थे। सैफई अस्पताल में इलाज के बाद वह छह अगस्त को डिस्चार्ज हो गए। इसके बाद वह हमेशा मॉस्क लगाते हैं। लोगों से दो गज की दूरी बनाकर बात करने की सलाह देते हैं। सुबह योग करते हैं इसके बाद परिवार के साथ समय व्यतीत कर रहे हैं।

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