इस बार रोपे जाएंगे ढाई लाख पौधे

जागरण संवाददाता, औरैया : पर्यावरण संरक्षण के लिए वन विभाग इस बार ढाई लाख पौधे रोपेगा। इस बार पौधों क

By JagranEdited By: Publish:Mon, 27 Mar 2017 01:00 AM (IST) Updated:Mon, 27 Mar 2017 01:00 AM (IST)
इस बार रोपे जाएंगे ढाई लाख पौधे
इस बार रोपे जाएंगे ढाई लाख पौधे

जागरण संवाददाता, औरैया : पर्यावरण संरक्षण के लिए वन विभाग इस बार ढाई लाख पौधे रोपेगा। इस बार पौधों को सूखने से बचाने के लिए नया फार्मूला इस्तेमाल किया जाएगा। बीते वर्ष के बचे हुए ढाई लाख आदमकद पौधे सातों ब्लाकों की बीहड़ी व बंजर भूमि पर लगाए जाएंगे।

बीते वर्ष तत्कालीन मुख्यमंत्री के आदेश पर पूरे प्रदेश में एक दिन में पांच करोड़ पौधे रोपे गए थे। जनपद में वन विभाग के अधिकारियों ने शासन के आदेश पर ढाई लाख पौधे लगाए थे, लेकिन करीब छह लाख पौधे वन विभाग की पांच नर्सरियों में उगाए गए थे, इनमें से अभी भी करीब तीन लाख पौधे नर्सरियों में सुरक्षित रखे गए हैं। यह पौधे अब काफी बड़े हो गए हैं। इसके अतिरिक्त पांचों नर्सरियों में ढाई लाख से अधिक नए पौधे भी उगाए गए हैं। इनमें नीम, शीशम, नीबू, बेल, अर्जुन, विलायती बबूल सहित कई प्रकार के ऐसे पौधे तैयार किए गए हैं जो ऊसर व बंजर भूमि में आसानी से जीवित रह सकेंगे। रोपण के लिए विभाग ने समय से पूर्व ही ढाई लाख गड्ढे खोद लिए हैं। जुलाई में बरसात के दौरान वन विभाग के कर्मचारी इनका रोपड़ करेंगे।

बड़े पौधों में नुकसान का खतरा होता है कम

क्षेत्रीय वनाधिकारी औरैया मुन्ना लाल ने बताया कि बड़े पौधों में सूखने व नुकसान का खतरा कम होता है। यह पौधे न तो जल्दी सूखते हैं, न ही जानवर इनको खा सकते हैं। रोपण के बाद बरसात में यह और बड़े हो जाएंगे। नीचे की पत्तियां अगर जानवर खा भी लेते हैं तो पौधों को नुकसान नहीं होता। छोटे पौधे जानवर पूरे खा जाते हैं। इस स्थिति से बचने के लिए डीएफओ सुंदरेसा के निर्देश पर इस बार अधिकांश बीते वर्ष के आदमकद पौधे रोपे जाएंगे। जो नए पौधे इस वर्ष तैयार किए जा रहे हैं, उन्हें संरक्षित कर अगले वर्ष रोपा जाएगा।

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