अब आसानी से बन जाएगा प्रदूषण प्रमाण पत्र, खुले 26 केंद्र
अब प्रदूषण प्रमाण पत्र (पॉल्यूशन सर्टिफिकेट) बनवाने के लिए लोगों को परेशान होने की जरूरत नहीं है। शहर के कई इलाके में प्रदूषण प्रमाण पत्र बनवाने के लिए केंद्र खोल दिए गए हैं।
जासं, प्रयागराज : अब प्रदूषण प्रमाण पत्र (पॉल्यूशन सर्टिफिकेट) बनवाने के लिए लोगों को परेशान नहीं होना पड़ेगा। क्योंकि शहर के दर्जन भर मोहल्लों और कुछ ग्रामीण क्षेत्रों में भी प्रदूषण जांच केंद्र खोल दिए गए हैं। इन केंद्रों से लोग अब प्रमाण पत्र बनवाकर जुर्माना भरने से बच सकते हैं। यह प्रक्रिया पूरी तरह से ऑनलाइन है। परिवहन विभाग को उम्मीद है कि इससे वाहनों से होने वाले प्रदूषण में कमी आएगी।
पहली सितंबर से केंद्र सरकार ने यातायात नियमों का उल्लंघन करने वालों पर भारी जुर्माना लगाने का नियम बना दिया है। हालांकि प्रदेश में अब तक इसे लागू नहीं किया गया है। फिर भी जुर्माने के डर से लोग वाहनों से जुड़े वैध प्रमाण पत्र बनवाने को लेकर सक्रिय हो गए हैं। कभी भी प्रदेश में नए नियम से जुर्माना वसूलने की प्रक्रिया शुरू हो सकती है। नए नियम के तहत वाहन का प्रदूषण प्रमाण पत्र न होने पर दो हजार रुपये जुर्माना वसूला जाएगा, इसलिए प्रदूषण की जांच कराने के लिए लोगों की भीड़ उमड़ रही है। सितंबर के पहले हफ्ते तक जिले भर में आठ प्रदूषण जांच केंद्र थे। इन केंद्रों पर रोजाना सैकड़ों लोग पहुंचने लगे लेकिन दिनभर में एक केंद्र पर करीब दो सौ वाहनों की जांच हो पाती थी। ऐसे में कई लोगों ने नए प्रदूषण जांच केंद्र खोलने के लिए आवेदन किया। आरटीओ ने जांच करके पखवाड़े भर में 18 नए प्रदूषण जांच केंद्रों की स्वीकृति दे दी है। इस तरह जिले भर में कुल 26 केंद्र खुल गए हैं। आरटीओ आरके सिंह ने बताया कि अब टीपी नगर, धूमनगंज, दरभंगा कालोनी, मुंडेरा, एसपी मार्ग, अल्लापुर, म्योर रोड, प्रीतमनगर, साउथ मलाका, मधवापुर बैरहना, मलाक हरहर, हंडिया, कोटवा हनुमानगंज आदि में नए केंद्र खुल गए हैं। इन केंद्रों पर लोग वाहनों की जांच कराकर प्रदूषण का प्रमाण पत्र ले सकते हैं।