व्यापारियों को आ रहे फर्जी ई-मेल संदेश, मची खलबली

नेट बैंकिंग के जरिए जीएसटी भुगतान की व्‍यापारियों को सूचना देने के नाम पर फर्जी ईमेल संदेश उनके रजिस्‍टर्ड ईमेल आइडी पर आ रहा है। लिंक पर क्लिक से वायरस डाटा करप्ट कर रहा है।

By Brijesh SrivastavaEdited By: Publish:Thu, 18 Apr 2019 01:49 PM (IST) Updated:Thu, 18 Apr 2019 01:49 PM (IST)
व्यापारियों को आ रहे फर्जी ई-मेल संदेश, मची खलबली
व्यापारियों को आ रहे फर्जी ई-मेल संदेश, मची खलबली

प्रयागराज : वस्तु एवं सेवाकर (जीएसटी) के तहत पंजीकृत व्यापारियों को उनके रजिस्टर्ड ई-मेल आइडी पर फर्जी संदेश आ रहे हैं। इन संदेशों के माध्यम से नेट बैंकिंग के जरिए जीएसटी भुगतान की भी बात कही जा रही है। इससे घबराए व्यापारी लिंक पर क्लिक कर रहे हैं तो उनके कंप्यूटर एवं अन्य डिवाइस में वायरस आ जाता है और पूरा डाटा ही करप्ट हो जा रहा है। 

 क्लिक करते ही कंप्यूटर एवं डिवाइस में वायरस आ रहा

दरअसल, व्यापारियों के रजिस्टर्ड ई-मेल आइडी पर एक साइट की ओर से एक ई-मेल आ रहा है। इस ई-मेल में यह कहा जा रहा है कि उनके खाते से जीएसटी भुगतान नेट बैंकिंग के जरिए काट लिया गया है। साथ ही चालान को डाउनलोड करने के लिए एक लिंक भी दिया गया है। जिस पर क्लिक करते ही उस कंप्यूटर एवं डिवाइस में वायरस आ रहा है। डाटा भी करप्ट हो जा रहा है। 

जीएसटी का संदेश देख लिंक खोलने को व्यापारी हैं मजबूर

व्यापारी उस लिंक को खोलने के लिए इसलिए भी मजबूर हो रहे हैं, क्योंकि संदेश जीएसटी द्वारा भेजा गया दिखाई दे रही है और लिंक में आयकर विभाग का भी संदर्भ दिया गया है।

बोले कैट अध्यक्ष, फर्जी गतिविधियों पर नियंत्रण के लिए कोई सुरक्षा तंत्र नहीं 

कैट के प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र गोयल का कहना है कि सरकार एक तरफ व्यापारियों को डिजिटलाइज करना चाहती है, वहीं दूसरी ओर ऐसी गतिविधियों पर नियंत्रण के लिए कोई सुरक्षा तंत्र नहीं है। उन्होंने व्यापारियों को सलाह दी है कि ऐसे किसी भी संदेहास्पद ई-मेल को न खोलें, बल्कि उसे तुरंत डिलीट कर दें। 

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