बिना इंजन बदले मेला पावर प्लांट जाएगी मालगाड़ी
जासं, इलाहाबाद : कोयला से लदी मालगाड़ियां अब सीधे मेजा पावर प्लांट जा सकेंगी। इन मालगाड़ियों का इंजन छ
जासं, इलाहाबाद : कोयला से लदी मालगाड़ियां अब सीधे मेजा पावर प्लांट जा सकेंगी। इन मालगाड़ियों का इंजन छिवकी में बदलने की जरुरत नहीं होगी। अब शंकरगढ़ तक रेल ट्रैक का विद्युतीकरण हो चुका है। बुधवार को रेल संरक्षा आयुक्त (सीआरएस) ने इसे हरी झंडी भी दे दी है। इससे डीजल की खपत और समय की भी बचत होगी।
दरअसल बिहार, झारखंड और पश्चिम बंगाल से कोयला लादकर आने वाली जिन मालगाड़ियों को मेजा पावर प्लांट जाना होता था। उनका इलेक्ट्रिक इंजन छिवकी में बदला जाता था। क्योंकि छिवकी से मेजा तक इलेक्ट्रिक लाइन नहीं थी। अब छिवकी से शंकरगढ़ तक विद्युतीकरण कर दिया गया है। वैसे छिवकी से मानिकपुर होते हुए इटारसी तक विद्युतीकरण का काम जोर शोर से चल रहा है। दो महीने पहले छिवकी से मानिकपुर का ट्रैक झांसी से कटकर इलाहाबाद मंडल में आ गया। इसलिए इस रूट के सुधार के लिए काम तेज हुआ। मेजा पावर प्लांट के लिए जाने वाली मालगाड़ियों का इंजन न बदलना पड़े इसलिए शंकरगढ़ तक हुए विद्युतीकरण का निरीक्षण हुआ। बुधवार को पूर्वी परिमंडल के रेल संरक्षा आयुक्त पीके आचार्य ने इस सेक्शन का निरीक्षण कर हरी झंडी दे दी। उसके बाद इलेक्ट्रिक इंजन दौड़ने लगे। निरीक्षण के दौरान झांसी के डीआरएम अशोक कुमार मिश्र, इलाहाबाद के एडीआरएम अनिल कुमार द्विवेदी, मुख्य बिजली इंजीनियर आलोक गुप्त, वरिष्ठ मंडल बिजली इंजीनियर पीआर त्रिपाठी आदि थे।