सुमंगला में अटके तो वेतन भी अटक सकता है, गुरुजन बेचैन, जानिए मामला Aligarh news

मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना के तहत छात्राओं को उनकी शिक्षा पूरी करने के लिए आर्थिक रूप से सहायता दी जाती है। माध्यमिक शिक्षा परिषद के कालेजों में पढ़ रही छात्राएं अगर इस योजना के लाभ से वंचित रहीं तो इसके लिए संबंधित कालेज के प्रधानाचार्य जवाबदेह होंगे।

By Anil KushwahaEdited By: Publish:Mon, 11 Oct 2021 08:40 AM (IST) Updated:Mon, 11 Oct 2021 08:43 AM (IST)
सुमंगला में अटके तो वेतन भी अटक सकता है, गुरुजन बेचैन, जानिए मामला Aligarh news
मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना के तहत छात्राओं को शिक्षा पूरी करने के लिए आर्थिक रूप से सहायता दी जाती है।

अलीगढ़, जागरण संवाददाता। मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना के तहत छात्राओं को उनकी शिक्षा पूरी करने के लिए आर्थिक रूप से सहायता दी जाती है। माध्यमिक शिक्षा परिषद के कालेजों में पढ़ रही छात्राएं अगर इस योजना के लाभ से वंचित रहीं तो इसके लिए संबंधित कालेज के प्रधानाचार्य जवाबदेह होंगे। इस संबंध में शिक्षाधिकारियों ने प्रधनाचार्यों के साथ बैठक करके सख्त आदेश भी जारी किए थे। मगर अब अफसरों ने इस पर कालेज संचालकों से रिपोर्ट मांगने का फरमान जारी किया है। अगर सुमंगला की रिपोर्ट देने में गुरुजी अटके तो उनका वेतन भी अटकने की संभावना प्रबल हो जाएगी। इसलिए गुरुजनों में बेचैनी बढ़ गई है।

विद्यालयों से मांगी जा रही रिपोर्ट 

डीआइओएस डा. धर्मेंद्र कुमार शर्मा ने कहा कि 20 सितंबर को प्रधानाचार्यों के साथ बैठक कर अनिवार्य रूप से छात्राओं के नामांकन कराने के निर्देश दिए गए थे। अब विद्यालयों से इस पर रिपोर्ट मांगी जा रही है। किस विद्यालय से कितनी छात्राओं के नामांकन या पंजीकरण योजना के तहत कराए गए हैं। बताया कि प्रधानाचार्यों को अन्य विद्यालयों से संपर्क कर पात्र छात्राओं का चिह्नीकरण कर उन छात्राओं का आनलाइन आवेदन भी कराना था। किस प्रधानाचार्य ने कितने दूसरे विद्यालयों से संपर्क किया? इसकी रिपोर्ट भी दी जाएगी। इसके लिए नोडल प्रभारियों की टीम भी तैयार की गई थी, जो अब समग्र रिपोर्ट तैयार कराकर देगी। बताया कि इस योजना के तहत कक्षा एक व छह में बालिका के प्रवेश के बाद 2000 रुपये एक मुश्त दिए जाते हैं।

परिवार की दो बालिकाओं को ही मिलेगा योजना का लाभ

इसी तरह कक्षा नौ में प्रवेश के बाद 3000 रुपये और 12वीं उत्तीर्ण करने के बाद स्नातक या दो वर्षीय या उससे अधिक अवधि के डिप्लोमा कोर्स में प्रवेश के बाद 5000 रुपये एक मुश्त दिए जाते हैं। बताया कि इसके लिए वे परिवार ही पात्र हैं जो उत्तरप्रदेश के निवासी हों व उनका स्थायी निवास प्रमाणपत्र हो। पारिवारिक आय अधिकतम तीन लाख रुपये सालाना हो। किसी परिवार की अधिकतम दो बालिकाओं को ही योजना का लाभ मिलेगा। परिवार में अधिकतम दो बच्चे हों। किसी महिला को द्वितीय प्रसव से जुड़वा बच्चे होने पर तीसरी संतान लड़की है तो उसको लाभ मिलेगा। अगर किसी महिला को पहले प्रसव में बालिका हो और दूसरे प्रसव में जुड़वा दो बेटियां हों तो केवल ऐसी स्थिति में ही तीनों बेटियों को लाभ मिलेगा। अगर किसी परिवार ने अनाथ बालिका को गोद लिया हो तो परिवार की जैविक संतानों व विधिक रूप से गोद ली गई संतानों को शामिल करते हुए अधिकतम दो बालिकाओं को लाभ मिलेगा।

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