Lalita Panchami 2019 Muhurat and Significance: आज है ललिता पंचमी, त्रिपुर सुंदरी की होती है पूजा, जानें शुभ मुहूर्त

Lalita Panchami 2019 Muhurat शारदीय नवरा​त्रि की पंचमी तिथि को ललिता पंचमी व्रत या उपांग ललिता पंचमी व्रत होता है।

By kartikey.tiwariEdited By: Publish:Tue, 01 Oct 2019 05:47 PM (IST) Updated:Wed, 02 Oct 2019 09:01 AM (IST)
Lalita Panchami 2019 Muhurat and Significance: आज है ललिता पंचमी, त्रिपुर सुंदरी की होती है पूजा, जानें शुभ मुहूर्त
Lalita Panchami 2019 Muhurat and Significance: आज है ललिता पंचमी, त्रिपुर सुंदरी की होती है पूजा, जानें शुभ मुहूर्त

Lalita Panchami 2019 Muhurat: शारदीय नवरा​त्रि की पंचमी तिथि को ललिता पंचमी व्रत या उपांग ललिता पंचमी व्रत होता है। ललिता पंचमी आज है, इस दिन ललिता देवी की पूजा करने का विधान है। ललिता देवी को त्रिपुर सुंदरी या षोडशी के नाम से भी जाना जाता है। यह 10 महाविद्याओं में से एक हैं।

ललिता पंचमी का व्रत खासतौर पर गुजरात और महाराष्ट्र के कुछ हिस्सों में प्रचलित है। इस दिन विधिपूर्वक त्रिपुर सुंदरी का पूजन होता है और व्रत रखा जाता है।

ललिता पंचमी व्रत मुहूर्त

पंचमी तिथि प्रारंभ: दिन में 11:40 से।

पंचमी तिथि अंत: 03 अक्टूबर को दिन में 10:12 बजे।

राहुकाल: दोपहर 12:28 बजे से 01:57 बजे तक।

कौन हैं त्रिपुर सुंदरी

देवी त्रिपुर सुंदरी को मां काली का रक्तवर्णा स्वरूप माना जाता है। उनकी आराधना करने से व्यक्ति को धन, ऐश्वर्य, भोग और मोक्ष की प्राप्ति होती है। मां काली के इस स्वरूप से मोक्ष और भोग दोनों ही प्राप्त होता है। ऋषि दुर्वासा मां त्रिपुर सुंदरी के परम भक्त माने जाते हैं।

देवी त्रिपुर सुंदरी 10 महाविद्याओं में से एक हैं। इनके तीन स्वरूप बताए गए हैं। 8 वर्ष की बालिका के रूप में त्रिपुर सुंदरी, 16 वर्षीय अवस्था में षोडशी और मां का युवा स्वरूप ललिता त्रिपुर सुंदरी के नाम से प्रसिद्ध हैं। मां त्रिपुर सुंदरी 16 कलाओं में निपुण हैं, इसलिए भी इनको षोडशी कहा जाता है।

त्रिपुर सुंदरी की उत्पत्ति

माता पार्वती ने एक बार भगवान शिव से गर्भावस्था और मरण के अपार दुख एवं कष्ट से छुटकारा पाने और मोक्ष की प्राप्ति के लिए एक उपाय पूछा। तब भगवान ​शिव ने त्रिपुर सुंदरी महाविद्या को प्रकट किया।

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