राजनाथ सिंह को तरसती रही कुर्सी, मायूस हुए लोग

संगरूर ए लोकसभा हलका संगरूर से अकाली-भाजपा के प्रत्याशी परमिदर सिहं ढींडसा के हक में वीरवार को आयोजित विकास रुके नां देश झुके नां रैली में केद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह का इंतजार करते लोग राजनाथ सिंह का दीदार नहीं कर पाए। रैली शुरू होने के एक घंटे बाद शिअद के जिला प्रधान इकबाल सिंह झूंदा ने हैलीकाप्टर में तकनीकी खामी के कारण राजनाथ सिंह के रैली में न पहुंचने की घोषणा की।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 16 May 2019 06:50 PM (IST) Updated:Fri, 17 May 2019 06:30 AM (IST)
राजनाथ सिंह को तरसती रही कुर्सी, मायूस हुए लोग
राजनाथ सिंह को तरसती रही कुर्सी, मायूस हुए लोग

जागरण संवाददाता, संगरूर

लोकसभा हलका संगरूर से अकाली-भाजपा के प्रत्याशी परमिदर सिहं ढींडसा के हक में वीरवार को आयोजित 'विकास रुके नां, देश झुके नां' रैली में आए लोग केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह के दीदार नहीं कर पाए। रैली शुरू होने के एक घंटे बाद शिअद के जिला प्रधान इकबाल सिंह झूंदा ने हैलीकाप्टर में तकनीकी खामी के कारण राजनाथ सिंह के न पहुंचने की घोषणा की। इसके कारण पूर्व मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल ने ही रैली का मोर्चा संभाला। अपने भाषण में बादल ने कहा कि यह चुनाव देश के प्रधानमंत्री के चयन के लिए हो रहा है। इसलिए देश की कमान नरेंद्र मोदी जैसे तुजुर्बेदार व्यक्ति के हाथ में देनी चाहिए, ताकि देश तरक्की कर सकें। राहुल गांधी के हाथ में देश की कमान देना गैर तुजुर्बेकार ड्राइवर के हाथ में यात्रियों से भरी बस देने के बराबर है, जो अगले ही मौड़ पर पलट जाएगी और फिर न तो ड्राइवर बचेगा और न ही सवारियां। नरेंद्र मोदी चार बार गुजरात के मुख्यमंत्री रहे, जिन्हें पूरे प्रबंधन की अच्छे से जानकारी हैं और लोगों से जुड़े हुए नेता हैं, क्योंकि चाय बेचने से जिदगी शुरू करने वाले नरेंद्र मोदी देश के प्रधानमंत्री पद तक पहुंचे। वहीं राहुल गांधी जो कभी मंत्री तक नहीं बने, वह देश की कमान संभालने के कतई काबिल नहीं हैं। उनके हाथ में देश की कमान देने का मतलब देश को डुबोने जैसा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हर क्षेत्र में देश को मजबूत किया है, जिसकी बदौलत आज बाहरी देशों की सरकारें भी हिदुस्तान से हाथ मिलना चाहती हैं व अपने देशों को नरेंद्र मोदी के गुजरात पैटर्न की तर्ज पर विकसित करना चाहती हैं। नरेंद्र मोदी ने आतंकवाद को मुंहतोड़ जवाब दिया है। प्रकाश सिंह बादल ने लोगों से अपील की है कि वह सुखबीर सिंह बादल, हरसिमरत कौर बादल से भी अधिक वोट से परमिदर सिंह ढींडसा को जीत दिलाएं। उन्होंने कहा कि पंजाब की 13 सीटें जीतकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की झोली में डालें, ताकि देश आगे भी विकास कर सकें।

प्रकाश सिंह बादल ने अपने 25 मिनट के भाषण में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का गुणगान किया। वहीं, राजनाथ सिंह का इंतजार कर रहे लोग प्रकाश सिंह बादल के भाषण को ज्यादा समय तक सुन न पाए और कुछ ही समय में पंडाल छोड़कर जाने लगे। 15 मिनट के भाषण तक ही पंडाल में से आधे लोग चले गए। इसके बावजूद भी प्रकाश सिंह बादल ने भाषण जारी रखा, जब लोगों का उठकर जाना न थमा तो प्रकाश सिंह बादल ने अपना भाषण समाप्त कर दिया।

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आप को वोट डालने का मतलब, अपनी वोट खूह में फेंकना

बादल ने आम आदमी पार्टी पर टिप्पणी करते हुए लोगों को चेताया कि आप नुं वोट देण दा मतलब ए के वोट खूह च सिट्टणा। आम आदमी पार्टी अपना अस्तित्व बचाने का प्रयास कर रही है। बादल ने कहा कि वह कोई ज्योतिष तो नहीं है, लेकिन यह बात दावे से कहते हैं कि लोकसभा चुनावों के बाद आम आदमी पार्टी व इनके दूसरे ग्रुप का नामोनिशान सियासत में से मिट जाएगा।

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