छह महीने में दस से 25 रुपये पहुंचा प्रति यात्री थ्री व्हीलर का किराया

निरंतर बढ़ते जा रहे डीजल के रेट सीएनजी की अनुपलब्धता व यात्रियों की बेहद कम संख्या का तर्क देकर जालंधर में एक बार फिर थ्री व्हीलर का किराया बढ़ा दिया गया है। महज छह महीने में यह किराया दस रुपये से 25 रुपये जा पहुंचा।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 03 Mar 2021 07:30 AM (IST) Updated:Wed, 03 Mar 2021 07:30 AM (IST)
छह महीने में दस से 25 रुपये पहुंचा प्रति यात्री थ्री व्हीलर का किराया
छह महीने में दस से 25 रुपये पहुंचा प्रति यात्री थ्री व्हीलर का किराया

जागरण संवाददाता, जालंधर : निरंतर बढ़ते जा रहे डीजल के रेट, सीएनजी की अनुपलब्धता व यात्रियों की बेहद कम संख्या का तर्क देकर जालंधर में एक बार फिर थ्री व्हीलर का किराया बढ़ा दिया गया है। महज छह महीने में यह किराया दस रुपये से 25 रुपये जा पहुंचा। शहर में सार्वजनिक बस सेवा उपलब्ध न होने के चलते लोगों के आवागमन के लिए थ्री व्हीलर ही एकमात्र सहारा है। उसी कारण यात्रियों को भी मुंह मांगे पैसे देने पड़ते हैं। करीब छह महीने पहले यहीं किराया दस रुपये थे। कोरोना काल में शहर में थ्री व्हीलर बंद रहे और लाकडाउन खुलने के बाद लोगों ने आवागमन शुरू किया तो किराया 15 व बीस रुपये कर दिया गया। हालांकि थ्री व्हीलर यूनियन की तरफ से प्रति यात्री अभी भी 20 रुपये ही बताया जा रहा है, लेकिन शहरभर में थ्री व्हीलर चालक मनमर्जी से किराया वसूल रहे हैं। हालांकि कम संख्या में चल रहे बैटरी चालित ई-रिक्शा कम फासले के लिए 10 रुपये प्रति यात्री भी किराया ले रहे हैं पर बस स्टैंड से मकसूदां अथवा उससे आगे जाने के लिए प्रति यात्री किराया 25 रुपये ही वसूला जा रहा है।

यूनाइटेड आटो रिक्शा ट्रेड यूनियन के अध्यक्ष रवि सब्बरवाल ने कहा कि डीजल के रेट 80 रुपये प्रति लीटर से भी ज्यादा हो चुके हैं। प्रशासन सीएनजी उपलब्ध करवा ही नहीं सका और कोरोना काल के दौरान थ्री व्हीलर में बैठने वाले यात्रियों की संख्या बेहद कम हो गई है। बैंक की किस्त लौटा पाना भी मुश्किल बना हुआ है। चालकों के आगे रोटी का संकट खड़ा हो गया है। अगर कोई 25 रुपये प्रति यात्री किराया वसूल रहा है तो इसमें कुछ गलत नहीं हैं क्योंकि इससे कम में तो खर्च भी पूरा नहीं हो रहा।

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