मेयर के दो साल के कार्यकाल को विपक्ष ने फेल बताया

मेयर जगदीश राज राजा के दो साल के कार्यकाल को विपक्ष ने पूरी तरह से फेल बताया है।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 25 Jan 2020 02:03 AM (IST) Updated:Sat, 25 Jan 2020 02:03 AM (IST)
मेयर के दो साल के कार्यकाल को विपक्ष ने फेल बताया
मेयर के दो साल के कार्यकाल को विपक्ष ने फेल बताया

जागरण संवाददाता, जालंधर : मेयर जगदीश राज राजा के दो साल के कार्यकाल को विपक्ष ने पूरी तरह से फेल बताया है। नगर निगम हाउस में विपक्ष भाजपा पार्षद दल के डिप्टी लीडर सुशील शर्मा, पार्षद वरेश मिटू और पार्षद पति प्रभदयाल ने कहा कि दो साल पहले 25 जनवरी 2018 को जब जगदीश राजा ने मेयर पद संभाला था तो लोगों को उम्मीद थी कि वह शहर के विकास के लिए कुछ खास करेंगे। आज उनकी उम्मीदों पर पानी फिर गया है, क्योंकि शहर के हालात बदतर हो गए हैं।

सुशील शर्मा ने कहा कि निगम में तीन आइएएस और तीन पीसीएस अफसर तैनात हैं, लेकिन शहर में सफाई, विज्ञापन, तहबाजारी, अवैध कॉलोनियों का विकास व बेसहारा पशुओं के मामले में निगम पूरी तरह से फेल है। शहर में जो भी काम हो रहे हैं, वे केंद्र सरकार की स्मार्ट सिटी, अमरुत योजना की ग्रांट से हो रहे हैं। निगम को न तो सूबा सरकार से ग्रांट मिल रही है और न ही निगम अपनी रिकवरी बढ़ा पा रहा है।

भाजपा पार्षद वरेश मिटू ने कहा कि सीवरेज-पानी के बिलों की बकाया राशि करोड़ों में पहुंच गई है। शहर में निगम की पार्किंग ठेके पर नहीं चढ़ रही और पार्किंग माफिया सड़कों पर गाड़ियां खड़ी करवाकर लाखों रुपये कमा रहे हैं। उन पर कोई कार्रवाई नहीं हो रही। उन्होंने कहा कि मेयर ने अगले तीन साल के काम के लिए पार्षदों से सुझाव मांगे हैं, लेकिन वह बताएं कि पुरानी समस्याएं कब दूर होंगी।

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सफाई सेवकों और रखरखाव के ठेके में भेदभाव का आरोप

विपक्ष ने आरोप लगाया कि मेयर दो साल में वार्डों में सफाई सेवकों की तैनाती का मामला भी नहीं सुलझा पाए हैं। किसी वार्ड में 46 सफाई सेवक हैं तो किसी में चार भी नहीं। निगम दो साल से सफाई सेवकों की भर्ती करने का दावा कर रहे हैं, लेकिन अभी तक भर्ती नहीं हुई। वार्डों में हर साल साढ़े तीन लाख से सीवर-पानी के सिस्टम को मेंटेन करने और 10 लाख से सड़कों की मेंटेनेंस का काम करवाया जाता है, लेकिन इस काम में भी अकाली-भजापा पार्षदों के साथ भेदभाव हो रहा है। कई पार्षदों के वार्ड में एक रुपया भी खर्च नहीं खर्च किया गया।

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