सुखना लेक का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर, एक बरसात और हुई तो छोड़ना पड़ेगा पानी Chandigarh News

बरसात के बाद सुखना लेक का जलस्तर 1163 फीट से महज चार इंच कम दर्ज किया गया। पिछले साल 1163 फीट पर पानी छोड़ दिया गया था।

By Edited By: Publish:Sun, 29 Sep 2019 08:20 PM (IST) Updated:Mon, 30 Sep 2019 05:06 PM (IST)
सुखना लेक का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर, एक बरसात और हुई तो छोड़ना पड़ेगा पानी Chandigarh News
सुखना लेक का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर, एक बरसात और हुई तो छोड़ना पड़ेगा पानी Chandigarh News

चंडीगढ़, जेएनएन। दो दिन से जारी बरसात ने सुखना लेक का जलस्तर फिर खतरे के निशान से ऊपर पहुंचा दिया है। रविवार को बरसात के बाद जलस्तर 1163 फीट से महज चार इंच कम दर्ज किया गया। पिछले साल 1163 फीट पर पानी छोड़ दिया गया था। फॉरेस्ट एंड वाइल्ड लाइफ डिपार्टमेंट ने इस संबंध में अलर्ट जारी कर इंजीनियरिंग डिपार्टमेंट को पानी छोड़ने के लिए सूचना दे दी है। अगर सोमवार या इसके अगले एक-दो दिन में तेज बरसात हुई तो सुखना का अतिरिक्त पानी फ्लड गेट खोलकर तुरंत रिलीज करना होगा। सुखना चौ में पानी छोड़कर घग्गर में भेजा जाएगा। इससे पहले जुलाई में भी लगातार बरसात के बाद ऐसी स्थिति बन गई थी। लेकिन उसके बाद बरसात बंद होने से यह टल गया था।

अगर सोमवार को पानी छोड़ा जाता है तो ऐसा पहली बार होगा जब जुलाई के बजाय सितंबर में पानी छोड़ा जाएगा। पिछले साल दस साल बाद जुलाई में फ्लड गेट खोलकर पानी छोड़ा गया था। पहली बार यह हालात लगातार दूसरी बार बन रहे हैं। 2008 के बाद 2018 में पानी छोड़ा गया था। सोमवार को भी बरसात का अनुमान मौसम विभाग सोमवार को भी बरसात की संभावना जता रहा है। इस पूर्वानुमान के बाद प्रशासन भी चौबीस घंटे अलर्ट पर है। प्रशासन इस कोशिश में है कि अगर पानी छोड़ना भी पड़े तो दिन में छोड़ा जाए। जिससे सुखना चौ के पास लगते एरिया पर नजर रहे और मोहाली-पंचकूला प्रशासन को भी तैयारी का मौका मिल जाए। चौ से यह पानी सीधे घग्गर में गिरता है। घग्गर पंचकूला से होते ही मोहाली से होकर गुजरती है। ऐसे में मौजूदा स्थिति से दोनों शहरों के प्रशासन को भी अलर्ट रहने की सूचना दी गई है।

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