Supreme Court कल राफेल और सबरीमाला के मामले में सुनाएगा फैसला, 17 को रिटायर होंगे CJI

सुप्रीम कोर्ट गुरुवार को राफेल और सबरीमाला समीक्षा याचिकाओं पर अपना फैसला सुनाएगा। राफेल मामले में 10 मई को और सबरीमाला मामले में फरवरी में अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था।

By TaniskEdited By: Publish:Wed, 13 Nov 2019 12:07 PM (IST) Updated:Wed, 13 Nov 2019 12:51 PM (IST)
Supreme Court कल राफेल और सबरीमाला के मामले में सुनाएगा फैसला, 17 को रिटायर होंगे CJI
Supreme Court कल राफेल और सबरीमाला के मामले में सुनाएगा फैसला, 17 को रिटायर होंगे CJI

नई दिल्ली, जेएनएन। सुप्रीम कोर्ट गुरुवार को राफेल और सबरीमाला समीक्षा याचिकाओं पर अपना फैसला सुनाएगा। 36 राफेल विमानों के सौदे को बरकरार रखने के 14 दिसंबर 2018 के अपने फैसले के खिलाफ दायर पुनर्विचार याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट कल यानी 14 नवंबर को अपना फैसला सुनाएगा। इसी दौरान राहुल गांधी के खिलाफ चौकीदार चोर है बयान को लेकर दायर अवमानना याचिका पर भी फैसला आना है। बता दें कि रंजन गोगोई 17 नवंबर को रिटायर हो रहे है। इससे पहले वो इन महत्वपूर्ण मामलो में फैसाल 

अरुण शौरी और भाजपा के पूर्व नेता यशवंत सिन्हा समेत अन्य याचिकाकर्ताओं ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले को चुनौती दी है। 10 मई को शीर्ष अदालत ने दलीलों पर फैसला सुरक्षित रख लिया था। 14 दिसंबर, 2018 को शीर्ष अदालत ने 58,000 करोड़ रुपये के सौदे में कथित अनियमितताओं की जांच की मांग वाली याचिकाओं को खारिज कर दिया था। मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई और जस्टिस एस के कौल और के एम जोसेफ की खंडपीठ ने इस मामले में अपना फैसला सुनाएगी। 

राहुल गांधी के खिलाफ दायर अवमानना याचिका पर फैसला

राफेल समीक्षा याचिकाओं के साथ-साथ सुप्रीम कोर्ट भाजपा नेता मीनाक्षी लेखी द्वारा चौकीदार चोर है बयान को लेकर कांग्रेस नेता राहुल गांधी के खिलाफ दायर अवमानना याचिका पर भी अपना फैसला सुनाएगा। इस मामले में राहुल गांधी पहले ही माफी मांग चुके हैं।

सबरीमाला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश पर फैसला

इसके अलावा सबरीमाला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश से जुड़े मामले में दायर पुनर्विचार याचिका पर सुप्रीम कोर्ट कल यानी 14 नवंबर को सुबह 10:30 बजे फैसला सुनाएगा।सबरीमाला का फैसला एक संविधान पीठ द्वारा दिया जाएगा, जिसमें भारत के मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई और जस्टिस रोहिंटन फली नरीमन, ए एम खानविलकर, डी वाई चंद्रचूड़ और इंदु मल्होत्रा शामिल हैं।

फरवरी में सुरक्षित रखा था फैसला

सबरीमाला मामले में शीर्ष अदालत ने 28 सितंबर 2018 को सबरीमाला में भगवान अयप्पा मंदिर के परिसर में 10 से 50 वर्ष की आयु की महिलाओं के प्रवेश पर प्रतिबंध हटा दिया था। अदालत ने अपना फैसला इस साल फरवरी में सुरक्षित रख लिया था। 

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