संसद का शीतकालीन सत्र 7 दिसंबर से, सीमा तनाव, EWS आरक्षण और जाति आधारित जनगणना का मुद्दा उठाएगी कांग्रेस

Parliment Winter Session संसद का शीतकालीन सत्र 7 दिसंबर से शुरू हो रहा है। संसद में कांग्रेस सीमा तनाव ईडब्लूएस आरक्षण और जाति आधारित जनगणना का मुद्दा उठाएगी। पार्टी ने शीतकालीन सत्र को लेकर अपनी रणनीति बना ली है।

By Jagran NewsEdited By: Publish:Sat, 03 Dec 2022 10:03 PM (IST) Updated:Sun, 04 Dec 2022 12:07 AM (IST)
संसद का शीतकालीन सत्र 7 दिसंबर से, सीमा तनाव, EWS आरक्षण और जाति आधारित जनगणना का मुद्दा उठाएगी कांग्रेस
पूर्व केंद्रीय मंत्री जयराम रमेश (फोटो- ट्विटर)

नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। संसद के शीतकालीन सत्र को लेकर कांग्रेस ने शनिवार को अपनी रणनीति साफ की है और कहा कि वह चीन सहित दूसरे पड़ोसियों के साथ सीमा पर चल रहे तनाव, आर्थिक आरक्षण व महंगाई सहित करीब 15 मुद्दों को प्रमुखता से उठाएंगे। साथ ही इस पर सरकार से चर्चा और बहस की भी मांग करेगी।

तीन विधेयकों का विरोध करने का कांग्रेस ने किया ऐलान

कांग्रेस ने इसके साथ ही सरकार की ओर से सूचीबद्ध किए गए करीब 16 विधेयकों में से बायोलॉजिकल डायवर्सिटी सहित तीन संशोधन विधेयकों का खुले पर तौर पर विरोध का भी ऐलान किया है। साथ ही कहा है कि वह सरकार से इन विधेयकों में संशोधन से पहले स्थाई समिति के पास भेजने की मांग करेगी।

इस सत्र में 17 बिल लिस्ट हुए हैं, इन 17 बिलों में 3-4 बिल ऐसे हैं जिनका हम समर्थन नहीं कर सकते।

हम चाहते हैं कि मल्टी स्टेट कोऑपरेटिव सोसायटी अमेंडमेंट बिल, फॉरेस्ट कन्वर्जेशन अमेंडमेंट बिल को स्थायी समिति में भेजा जाना चाहिए, ताकि उस पर गहरा विचार हो: श्री @Jairam_Ramesh pic.twitter.com/naj22EMWjk

— Congress (@INCIndia) December 3, 2022

संसद के शीतकालीन सत्र को लेकर हुई बैठक

कांग्रेस पार्टी ने संसद के शीतकालीन सत्र को लेकर शनिवार को पार्टी की संसदीय दल की अध्यक्ष सोनिया गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे की अगुवाई में एक अहम बैठक बुलाई थी। करीब 70 मिनट चली बैठक में पार्टी सीमा तनाव, महंगाई सहित उन सभी मुद्दों को संसद में उठाने का फैसला लिया, जो जनता और देश की सुरक्षा से जुड़े है। इनमें साइबर क्राइम के मुद्दे को भी प्रमुखता से रखा गया है।

'आर्थिक आरक्षण के मुद्दे पर नए सिरे से समीक्षा की करेंगे मांग'

कांग्रेस पार्टी के मीडिया विभाग के प्रमुख जयराम रमेश ने बैठक की जानकारी देते हुए बताया कि शीतकालीन सत्र में आर्थिक आरक्षण के मुद्दे पर भी वह सरकार से नए सिरे से समीक्षा की मांग करेंगे। यह इसलिए भी अहम है क्योंकि सुप्रीम कोर्ट ने भले ही बहुमत से सरकार के इस फैसले को सही ठहराया था, लेकिन पांच सदस्यीय पीठ के दो जजों ने इसके फैसले से असहमति जताई थी।

सभी वर्गों को मिले आरक्षण

रमेश ने कहा कि कांग्रेस पार्टी आर्थिक आरक्षण के पक्ष में है, लेकिन वह चाहती है कि यह सभी वर्गों को मिले। इसके अलावा पार्टी जातिगत जनगणना की भी नए सिरे मांग करेगी। उनका कहना था कि यह मांग लंबे समय की जा रही है, लेकिन सरकार इस पर चुप्पी साधे हुए है।

सात दिसंबर से शुरू हो रहा संसद का शीतकालीन सत्र

गौरतलब है कि संसद की शीतकालीन सत्र सात दिसंबर से शुरू हो रहा है, जो 29 दिसंबर तक चलेगा। सत्र को लेकर पार्टी की ओर से रणनीति बनाने के लिए बुलाई गई इस बैठक में सोनिया गांधी, मल्लिकार्जुन खरगे के अतिरिक्त लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी, पी. चिदंबरम आदि मुख्य रूप से शामिल थे।

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