आपके कंप्यूटर में सरकार की ताकझांक के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट करेगा सुनवाई

MHA Notification on Computer Surveillance: जनहित याचिका दायर करने वाले एम एल शर्मा ने तत्काल सुनवाई की मांग की है।

By Vikas JangraEdited By: Publish:Thu, 03 Jan 2019 11:53 AM (IST) Updated:Thu, 03 Jan 2019 12:16 PM (IST)
आपके कंप्यूटर में सरकार की ताकझांक के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट करेगा सुनवाई
आपके कंप्यूटर में सरकार की ताकझांक के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट करेगा सुनवाई

नई दिल्ली, जेएनएन। केंद्र सरकार की ओर से जारी नए निगरानी नियमों के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट पहुंचे वकील एम एल शर्मा ने मामले की तत्काल सुनवाई की मांग की है। बता दें कि एमएल शर्मा ने गत 24 दिसंबर को इस मामले को लेकर सुप्रीम कोर्ट में जनहित याचिका दायर की थी। हालांकि, तत्काल सुनवाई की मांग पर अभी सुप्रीम कोर्ट की ओर से अभी प्रतिक्रिया आनी बाकी है। 

केंद्र ने जारी किए हैं निगरानी के आदेश

गौरतलब है कि इंफॉरमेशन टेक्नोलॉजी कानून के बने नियमों के तहत डाटा निगरानी के गृह मंत्रालय ने नए आदेश जारी किए हैं। इसके तहत 10 खुफिया और सुरक्षा एजेंसियों को किसी भी कंप्यूटर की निगरानी का सीमित अधिकार दिया गया है। इसमें किसी भी कंप्यूटर सिस्टम में दर्ज सारा डाटा जुटाने, उन पर नजर रखने और उन्हें डिक्रिप्ट करने का अधिकार शामिल है।

ये एजेंसियां रखेंगी नजर

खुफिया ब्यूरो (आइबी); नार्कोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी); प्रवर्तन निदेशालय (ईडी); केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी); राजस्व खुफिया निदेशालय (डीआरआइ); केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआइ); राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआइए); रिसर्च एंड एनालिसिस विंग (रॉ); जम्मू-कश्मीर, असम और पूवरेत्तर में कार्यरत सिगनल गुप्तचर महानिदेशालय और दिल्ली पुलिस को ही किसी की कंप्यूटर की निगरानी का अधिकार होगा

शर्मा पर लगा चुका है जुर्माना

एमएल शर्मा, सुप्रीम कोर्ट में जनहित याचिका दायर करने के लिए जाने जाते हैं। इससे पहले कोर्ट भी उन पर एक गैरजरूरी याचिका दाखिल करने के लिए 50 हजार रुपये जुर्माना लगा चुका है। 

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