विस्थापितों ने किया दस्तावेज जांच का विरोध

राउरकेला इस्पात संयंत्र में फर्जी प्रमाणपत्र पर नौकरी करने क

By JagranEdited By: Publish:Mon, 24 Sep 2018 06:37 PM (IST) Updated:Mon, 24 Sep 2018 07:21 PM (IST)
विस्थापितों ने किया दस्तावेज जांच का विरोध
विस्थापितों ने किया दस्तावेज जांच का विरोध

जागरण संवाददाता, राउरकेला : राउरकेला इस्पात संयंत्र में फर्जी प्रमाणपत्र पर नौकरी करने का आरोप लगाते हुए अनुसूचित जाति एवं जन जाति आयोग के समक्ष विस्थापित संघ के एक गुट के नेता लाछू ओराम के द्वारा सौंपी गई सूची पर विस्थापित परिवार के सदस्यों ने विरोध जताया है। जांच प्रक्रिया पूरी होने के बाद ही संयंत्र में नौकरी दी गई है। 23 साल बाद उन्हें फर्जी बताए जाने पर असंतोष प्रकट किया गया।

विस्थपित संघ के नेता लाछू ओराम ने अनुसूचित जाति एवं जनजाति आयोग की उपाध्यक्ष अनसुया वीके के समक्ष फर्जी दस्तावेज पर नौकरी करने वाले 651 लोगों की सूची पेश किए हैं। आयोग के निर्देश पर एडीएम कार्यालय के निर्देश पर आरएसपी प्रबंधन की ओर से 451 लोगों को नोटिस जारी किया गया है एवं सोमवार से उनके दस्तोवजों की जांच शुरू की गई है। इस पर विस्थापित परिवार के सदस्यों असंतोष देखा गया। विस्थापित परिवारों के दस्तावेजों की जांच करने के बाद ही एडीएम कार्यालय से आरएसपी को अनुशंसा भेजी गई थी। जिसके आधार पर प्रशिक्षण देने के बाद नौकरी दी गई। अब दुबारा इसकी जांच कराने का कोई औचित्य नहीं है। विस्थापित परिवार के सदस्यों ने दस्तावेज जांच के लिए कम समय देने पर भी आपत्ति जताई। उनका कहना था कि परिवार के जमीन संबंधित दस्तावेज आमगांव, हाथीधसा, लचढ़ा एवं अन्य क्षेत्रों में है जिन्हें लाने में समय लगेगा। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि विस्थापित परिवारों के खाते में गैर विस्थापित परिवार के सदस्य यदि नौकरी कर रहे हैं तो इसकी शिकायत उन्हें करनी चाहिए पर यहां ऐसा कोई मामला नहीं आया है। उन्होंने जब तक जांच प्रक्रिया पूरी नहीं होती है तब तक लाछू ओराम को वहां बैठाने का अनुरोध किया। शिकायत करने वालों के साथ बीरमित्रपुर के विधायक जार्ज तिर्की, गोपाल दास, जीता लोहार, कार्तिक भूमिज, दिलीप दास, विष्णु महंतो, तरुण पसायत, रामचंद्र लोहार, गणेश कंसारी आदि लोग शामिल थे।

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