गुजरात जेलों में अव्यवस्था और सुरक्षा इंतजाम ढीले : कैग

नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक [कैग] ने अपनी रिपोर्ट में गुजरात की जेलों में सुरक्षा के इंतजामों की कमी और प्रबंधन में खामियां बताई हैं। 31 मार्च 2013 की विधानसभा में पेश रिपोर्ट के मुताबिक, नई जेलों के निर्माण की योजना न होने की वजह से कुछ जेलों में बहुत ज्यादा भीड़ है जबकि कुछ जेलों का इस्तेमाल ठ

By Edited By: Publish:Sat, 26 Jul 2014 11:02 PM (IST) Updated:Sat, 26 Jul 2014 11:03 PM (IST)
गुजरात जेलों में अव्यवस्था और सुरक्षा इंतजाम ढीले : कैग

गांधीनगर। नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक [कैग] ने अपनी रिपोर्ट में गुजरात की जेलों में सुरक्षा के इंतजामों की कमी और प्रबंधन में खामियां बताई हैं। 31 मार्च 2013 की विधानसभा में पेश रिपोर्ट के मुताबिक, नई जेलों के निर्माण की योजना न होने की वजह से कुछ जेलों में बहुत ज्यादा भीड़ है जबकि कुछ जेलों का इस्तेमाल ठीक से नहीं हो पा रहा है।

राज्य की पांच जेलों अहमदाबाद, वडोदरा मध्य, जूनागढ़, पालनपुर और नवासरी में बहुत ज्यादा भीड़ बताई गई है। रिपोर्ट में कहा गया है कि इससे स्पष्ट है कि राज्य के जेल महानिरीक्षक के पास कैदियों की क्षमता के हिसाब से जेलों का उपयोग करने की कोई योजना ही नहीं है।

रिपोर्ट के मुताबिक, सुरक्षा इंतजामों की जांच में जेलों के दरवाजों में लगे मेटल डिटेक्टर्स, सीसीटीवी सिस्टम और मोबाइल फोन जैमर प्रभावहीन पाए गए। यही नहीं, साबरमती जेल के बाहर वॉच टॉवर नहीं थे और पालरा की विशेष जेल के बाहर लगे वॉच टॉवर की ऊंचाई वायु रक्षा प्रोटोकॉल के चलते कम कर दी गई थी।

रिपोर्ट में बताया गया है कि बांबे जेल मैनुअल्स का उल्लंघन करते हुए नवासरी उप जेल के आसपास ऊंची बिल्डिंगें बनाई जा रही हैं। मार्च 2013 तक जेल से भागे 1540 कैदियों में 567 को तलाशना अभी बाकी है।

रिपोर्ट के अनुसार, गंभीर अपराधियों और आतंकियों के लिए जेलों में 200 नए प्रकोष्ठ तैयार किए जा चुके हैं लेकिन उनका उपयोग अभी शुरू नहीं हो पाया है। ऐसे कैदियों को अभी साधारण कैदियों के साथ रखा जा रहा है। जेलों में खराब स्वास्थ्य सेवाओं का भी जिक्र किया गया।

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