India China Border Tension: क्या भारत-चीन के बीच और बिगड़ सकते हैं हालात, जानें रक्षा विशेषज्ञ की राय
भारत और चीन के बीच वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC)पर तनाव को लेकर डिफेंस एक्सपर्ट पीके सहगल ने अहम जानकारी दी है।
नई दिल्ली, एएनआइ। भारत और चीन के बीच वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC)पर तनाव की स्थिति बरकरार है। चीन दादागीरी दिखाकर भारत से बॉर्डर पर इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण बंद करने को कह रहा है। भारत पर दबाव बनाने के लिए चीन ने सीमा पर 5000 सैनिक तैनात कर दिए हैं।
भारत ने भी उसी पैमाने पर वहां सैनिक तैनात कर दिए हैं। ऐसे में दोनों देशों के बीच तनाव कम होता नहीं दिख रहा। ऐसे में सवाल उठ रहा है कि क्या दोनों देशों युद्ध जैसे हालात बनते दिख रहे हैं? समाचार एजेंसी एएनआइ के अनुसार डिफेंस एक्सपर्ट पीके सहगल ने भारत और चीन के बीच तनाव को लेकर अहम जानकारी दी है।
क्यों बढ़ा तनाव
समाचार एजेंसी एएनआइ के अनुसार डिफेंस एक्सपर्ट पीके सहगल तनाव का कारण बताते हुए कहा कि चीन ने भारत के सामने 5000 सैनिक तैनात कर दिए हैं। भारत ने भी उतने ही पैमाने पर उत्तराखंड और लद्दाख में सैनिक तैनात कर दिए हैं। चीन दबाव डाल रहा है कि भारत जो उनके तरफ इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण कर रहा है वो उसे बंद करे। भारत ने इसे बंद करने से साफ मना कर दिया है क्योंकि चीन ने अपनी तरफ बहुत बड़ा कंस्ट्रक्शन किया है भारत तो बस उसकी बराबरी करने की कोशिश कर रहा है।
युद्ध जैसे हालात पर डिफेंस एक्सपर्ट की राय
डिफेंस एक्सपर्ट पीके सहगल ने दोनों देशों के बीच युद्ध जैसे हालात पर बड़ी बात कही। समाचार एजेंसी एएनआइ के अनुसार उन्होंने इस मुद्दे पर कहा कि उन्हें नहीं लगता कि दोनों देशों में किसी प्रकार का युद्ध होगा। युद्ध करना किसी के भी हित में नहीं है।'
डोकलाम जैसे हालात
बता दें कि दोनों देशों की सेनाओं के बीच लगभग साल 2017 में डोकलाम जैसे हालात हैं। दोनों सेनाएं कुछ सौ मीटर की दूरी पर तैनात हैं। चीन की सैन्य गतिविधियां बढ़ रही हैं तो भारत भी उसी तर्ज पर अपने सैनिक की संख्या बढ़ाने की कोशिश कर चुका है। चीनी सेना की तरफ से भारतीय जमीन पर टेंट भी लगा दिए हैं। सेना का उत्तरी कमान कुछ घंटे की सूचना पर तनावग्रस्त इलाके में और ज्यादा सैनिकों को भेजने की तैयारी पूरी कर चुका है।
चीन की तरफ से सड़क निर्माण
चीनी सैनिक इसके अलावा गलवां नाला एरिया में भी डेरा डाले हुए हैं। चीन की तरफ से सड़क निर्माण भी हो रहा है। भारत की तरफ से इन गतिविधियों के बारे में शिकायत दर्ज कराई गई है, लेकिन अभी तक कोई असर होता नहीं दिख रहा है।