अंबिका सोनी ने हिमाचल, उत्तराखंड के प्रभारी पद से दिया इस्तीफा
अंबिका सोनी ने कांग्रेस महासचिव के पद से इस्तीफा दिया
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली । कांग्रेस की वरिष्ठ नेता पार्टी महासचिव अंबिका सोनी ने स्वास्थ्य वजहों से हिमाचल प्रदेश के संगठन की जिम्मेदारी से मुक्त किए जाने का हाईकमान से आग्रह किया है। अंबिका ने इस्तीफे की अटकलों को नकारते हुए कहा कि हिमाचल में अगले साल चुनाव हैं और उनके पास तीन पहाड़ी राज्यों की जिम्मेदारी है। सेहत की वजहों से पहाड़ के लगातार दौरे करना आसान नहीं इसीलिए नेतृत्व से अपना बोझ हल्का करने को कहा है।
अंबिका के इस आग्रह के बीच कांग्रेस संगठन में कुछ और बदलाव के संकेत हैं। इस फेरबदल में पार्टी के पुराने दिग्गज पूर्व गृहमंत्री सुशील कुमार शिंदे के भी संगठन में आने की संभावना है। पार्टी के केंद्रीय संगठन में किश्तों में हो रहे बदलाव के साथ मध्यप्रदेश और बिहार में नए प्रदेश कांग्रेस अध्यक्षों की नियुक्ति की चर्चाएं भी एक बार फिर तेज हो गई हैं। मगर शुक्रवार को पार्टी के सियासी गलियारे में अंबिका के इस्तीफे की अटकलों से हलचल ज्यादा तेज हो गई। अंबिका को लेकर यह खबर करीब उसी समय आयी जब गुजरात में वाघेला कांग्रेस छोड़ने का एलान कर रहे थे। इसी हलचल को देखते हुए अंबिका ने खुद बयान जारी कर पार्टी महासचिव पद से इस्तीफा देने की खबरों का खंडन किया। उन्होंने कहा कि जब तक पार्टी नेतृत्व उनकी जिम्मेदारियों को बोझ कम नहीं करता तब तक वे अपना कामकाज करती रहेंगी।
गौरतलब है कि अंबिका के पास हिमाचल के साथ जम्मू-कश्मीर और उत्तराखंड का प्रभार है। वैसे भी अंबिका पिछले एक साल से हाईकमान से अपना बोझ कम करने का आग्रह करती रही हैं। उत्तराखंड विधानसभा चुनाव से पहले भी उन्होंने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से सूबे की जिम्मेदारी से मुक्त करने के लिए कहा था। कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने भी अंबिका के इस्तीफे की खबरों को गलत बताते हुए इसे राजनीतिक विरोधियों के अफवाह फैलाने की रणनीति का हिस्सा करार दिया।
उनका कहना था कि अंबिका पार्टी की वरिष्ठतम नेताओं में एक हैं और कांग्रेस उनके राजनीतिक अनुभवों का आगे भी लाभ उठाती रहेगी। वैसे माना जा रहा कि इस बार हाईकमान अंबिका के आग्रह को मानते हुए हिमाचल प्रदेश की जिम्मेदारी किसी वरिष्ठ नेता को सौंपेगा। हिमाचल में विधानसभा के चुनाव और मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के कद को देखते हुए सुशील कुमार शिंदे को यह जिम्मेदारी दिए जाने की चर्चा गरम है। पिछले हफ्ते भी कांग्रेस के केंद्रीय संगठन में दो बदलाव किए गए थे जिसमें पीएल पुनिया को छत्तीसगढ और आरपीएन सिंह को झारखंड का प्रभारी बनाया गया था।
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