यादव सिंह की डायरी में 550 लोगों का काला चिट्ठा

आयकर विभाग के छापे के दौरान नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना प्राधिकरण के निलंबित इंजीनियर इन चीफ यादव सिंह के घर से बरामद डायरी नेता, अधिकारी और ठेकेदारों के लिए परेशानी का सबब बन गई है। डायरी में करीब साढ़े पांच सौ लोगों के नाम हैं। सूत्रों का दावा है

By manoj yadavEdited By: Publish:Thu, 11 Dec 2014 07:08 PM (IST) Updated:Fri, 12 Dec 2014 03:22 AM (IST)
यादव सिंह की डायरी में 550 लोगों का काला चिट्ठा

नोएडा, [धर्मेंद्र चंदेल]। आयकर विभाग के छापे के दौरान नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना प्राधिकरण के निलंबित इंजीनियर इन चीफ यादव सिंह के घर से बरामद डायरी नेता, अधिकारी और ठेकेदारों के लिए परेशानी का सबब बन गई है। डायरी में करीब साढ़े पांच सौ लोगों के नाम हैं। सूत्रों का दावा है कि ये वे नाम हैं, जिनसे कहीं न कहीं यादव सिंह लाभान्वित हुआ अथवा उसने लाभ पहुंचाया। आयकर विभाग ऐसे लोगों की गर्दन पकडऩा चाह रहा है जिन्होंने नियमों को ताक पर रखकर करोड़ों रुपये की काली कमाई की। विभाग इन सभी को नोटिस भेजकर पूछताछ के लिए बुलाने की तैयारी में है।

डायरी में प्रत्येक उस नेता और अधिकारी का नाम लिख रखा है, जिन्हें यादव सिंह कमीशन देता था। किसको कितना कमीशन दिया गया, यह भी दर्ज है। कमीशन देने वाले ठेकेदारों के नाम भी लिखे हैं। सबसे ज्यादा कमीशन देने वाले 15 ठेकेदारों के नाम हैं। 35 ठेकेदार ऐसे हैं जो कम कमीशन देते थे। आयकर विभाग इन सभी को पूछताछ के लिए बुलाएगा। यह भी पता लगाने का प्रयास किया जाएगा कि प्राधिकरण के निर्माण व विकास कार्यों के टेंडरों से करोड़ों रुपये कमाने वाले ठेकेदारों ने निर्धारित आयकर दिया था, या नहीं। यदि आयकर की चोरी की है तो ऐसे ठेकेदारों पर अलग से मामला चलेगा।

करीबियों से घंटों बात

यादव सिंह के पास कई मोबाइल नंबर थे। एक नंबर ऐसा था, जिसका प्रयोग वह सिर्फ प्राधिकरण अधिकारी और शासन स्तर पर बात करने के लिए करता था। दूसरे नंबर पर वह नेता और क्षेत्र के लोगों से बात करता था। एक नंबर से वह सिर्फ ठेकेदारों से बात करता था। कई नंबर ऐसे भी हैं जो यादव सिंह ने औरों के नाम से ले रखे थे। 15 से 20 दिनों बाद ही वह नंबर बदल देता था।

छुट्टी की अर्जी मंजूर

यादव सिंह ने आठ जनवरी तक अर्जित अवकाश की अर्जी भेजी है। हालांकि नोएडा प्राधिकरण उसे प्राधिकरण की छवि खराब करने और आयकर का नोटिस जारी होने के आरोप में सोमवार को निलंबित कर चुका है। दिलचस्प यह है कि कार्मिक विभाग ने उसकी अर्जी को मंजूर कर लिया है।

954 करोड़ के भ्रष्टाचार में क्लोजर रिपोर्ट

नोएडा। यादव ंिसंह के लिए गुरुवार का दिन राहत भरी खबर लेकर आया। 954 करोड़ रुपये के भ्रष्टाचार के मामले में स्थानीय अदालत ने क्लोजर रिपोर्ट स्वीकार कर ली। सीबीसीआइडी जांच में यादव सिंह को क्लीन चिट दी गई थी। वर्ष 2011 में यादव सिंह पर नोएडा प्राधिकरण में 954 करोड़ रुपये के भ्रष्टाचार का आरोप लगा था। इस पर तत्कालीन सीईओ संजीव शरण के निर्देश पर उसके खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया गया था। यादव सिंह ने हाई कोर्ट में अपील की, लेकिन राहत नहीं मिली। वह कुछ समय के लिए फरार भी हो गया था।

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