आप जानते हैं कि देश की वह कौन सी 10 कंपनियां हैं, जिनके सबसे ज्यादा बिकने वाले घरेलू उत्पाद आपके दिमाग में घर बना चुके हैं

वैसे तो टाटा समूह नमक से लेकर कार तक बनाती है लेकिन हमारे देश में घरेलू उत्पाद बनाने वाली कई ऐसी कंपनियां हैं जिसके बिना काम नहीं चल सकता। तो आइए आज जानते हैं कौन सी ऐसी कंपनियां है जो हमारे जीवन में घर बना चुकी है।

By Jitendra SinghEdited By: Publish:Mon, 26 Jul 2021 06:52 AM (IST) Updated:Mon, 26 Jul 2021 09:06 AM (IST)
आप जानते हैं कि देश की वह कौन सी 10 कंपनियां हैं, जिनके सबसे ज्यादा बिकने वाले घरेलू उत्पाद आपके दिमाग में घर बना चुके हैं
आप जानते हैं कि देश की वह कौन सी 10 कंपनियां हैं

जमशेदपुर, जासं। एफएमसीजी यानी फास्ट मूविंग कंज्यूमर गुड्स का नाम तो अापने सुना ही होगा, लेकिन हम आज आपको बताने जा रहे हैं कि सबसे ज्यादा घरेलू उत्पादों की बिक्री किन कंपनियों की है। ऐसा कि आप इनके बिना जीवन की कल्पना तक नहीं कर सकते, क्योंकि इन उत्पादों ने आपके दिमाग में घर बना लिया है।

तारीफ की बात तो यह है कि ये सभी कंपनियां स्वदेशी हैं, लेकिन उनकी क्वालिटी विदेशी उत्पादों को भी मात देती है। ये कंपनियां पैकेज्ड फूड, टॉयलेटरीज़, उपभोग सामग्रियों और पर्सनल केयर ब्रांड का निर्माण और बिक्री करती हैं। एफएमसीजी भारतीय अर्थव्यवस्था का चौथा सबसे बड़ा क्षेत्र है। इसमें सब्जी, किराना व डेयरी जैसे उत्पाद शामिल हैं।

भारत के अलावा इन उत्पादों का उपयोग दूसरे देशों के लोग भी खूब करते हैं। इन उत्पादों की हमेशा मांग रहती है, क्योंकि इन्हें ज्यादा दिन तक स्टोर नहीं किया जाता है।

डाबर

डाबर इंडिया लिमिटेड, गाजियाबाद (उत्तर प्रदेश) स्थित एक भारतीय बहुराष्ट्रीय उपभोक्ता सामग्री कंपनी है। इसकी स्थापना एसके बर्मन ने की थी। इसका मुख्य व्यवसाय आयुर्वेदिक दवा और प्राकृतिक उपभोक्ता उत्पाद हैं। इसे भारत की सबसे बड़ी फास्ट मूविंग कंज्यूमर गुड्स (एफएमसीजी) कंपनियों में से एक माना जाता है। 2003 में डाबर ने अपने फार्मा व्यवसाय को अलग कर दिया। जर्मन कंपनी फ्रेसेनियस एसई ने जून 2008 में डाबर फार्मा में 73 प्रतिशत से ज्यादा हिस्सेदारी खरीद ली। डाबर इंडिया की पूर्ण स्वामित्व वाली सहायक कंपनी डाबर इंटरनेशनल के पास संयुक्त अरब अमीरात स्थित वीकफील्ड इंटरनेशनल में थे, जिसे बाद में जून 2012 में बेच दिया गया था। डाबर हेयर केयर, डेंटल केयर और स्किन केयर जैसे उत्पाद का निर्माण व कारोबार करता है। भारत के अलावा डाबर की अंतरराष्ट्रीय बाजारों, विशेष रूप से मध्य पूर्व सार्क देशों अफ्रीका, अमेरिका, यूरोप और रूस के क्षेत्रों में एक बड़ी उपस्थिति है।

हिंदुस्तान यूनिलीवर

हिंदुस्तान यूनिलीवर लिमिटेड भारत की सबसे पुरानी और सबसे बड़ी एफएमसीजी कंपनी है और इसे डव, वैसलीन, ब्रू कॉफी, लक्स और हमाम साबुन से लेकर प्योरइट तक किसी परिचय की आवश्यकता नहीं है। फैब्रिक वॉश, घरेलू देखभाल, प्यूरीफायर, पर्सनल वॉश, हेयर केयर, स्किन केयर, कलर कॉस्मेटिक्स, ओरल केयर, डिओडोरेंट्स, बेवरेजेज, आइसक्रीम और फ्रोजन डेसर्ट और फूड्स जैसी 20 विभिन्न श्रेणियों में कई ब्रांड हैं।

यह एक एंग्लो-डच कंपनी यूनिलीवर की सहायक कंपनी है। भारत में इसकी स्थापना 1931 में हिंदुस्तान वनस्पति निर्माण कंपनी के रूप में स्थापित किया गया था। 1956 में घटक समूहों के विलय के बाद इसे हिंदुस्तान लीवर लिमिटेड के रूप में जाना जाने लगा। जून 2007 में कंपनी का नाम बदलकर हिंदुस्तान यूनिलीवर लिमिटेड कर दिया गया।

आईटीसी

1910 में इंपीरियल टोबैको कंपनी ऑफ इंडिया लिमिटेड के रूप में स्थापित कंपनी का 1970 में नाम बदलकर इंडिया टोबैको कंपनी लिमिटेड और अब कंपनी को आईटीसी लिमिटेड के रूप में जाना जाता है। इसकी कंपनी मूल रूप से कोलकाता में है। कंपनी फूड, पर्सनल केयर, सिगरेट, ब्रांडेड परिधान, शिक्षा और स्टेशनरी उत्पाद, सेफ्टी माचिस जैसे उत्पादों के कारोबार में काम करती है। इसके पांच खंडों में कुल 13 व्यवसाय हैं और 90 देशों में आईटीसी अपने उत्पादों का निर्यात करता है। इसके उत्पाद दुनिया भर में छह मिलियन या 60 लाख रिटेल आउटलेट में उपलब्ध हैं। कंपनी हास्पिटलिटी, कागज, पैकेजिंग, कृषि-व्यवसाय और आईटी क्षेत्र के कारोबार में भी है।

अमूल

अमूल गुजरात से शुरू हुई एक भारतीय डेयरी सहकारी समिति है। इसकी स्थापना 1946 में त्रिभुवनदास पटेल ने की थी। गुजरात को-ऑपरेटिव मिल्क मार्केटिंग फेडरेशन लिमिटेड गुजरात में 36 लाख (3.6 मिलियन) दूध उत्पादकों और 13 जिलों के शीर्ष निकाय के स्वामित्व में है। दुग्ध संघ गुजरात के 13,000 गांवों में काम करता है। अमूल ने ही भारत में श्वेत क्रांति को बढ़ाया, जिसकी वजह से देश दूध और दूध उत्पादों में आत्मनिर्भर बन गया है। इसके प्रमुख उत्पादों में ताजा दूध, ब्रेड स्प्रेड, पनीर, दही, छाछ, लस्सी, दूध पाउडर, चॉकलेट आदि हैं।

पारले

पारले एग्रो प्राइवेट लिमिटेड एक भारतीय कंपनी है, जिसके नाम से फ्रूटी, अप्पी, एलएमएन, हिप्पो आदि बिकते हैं।

कंपनी की स्थापना मुंबई के विले पार्ले में चौहान परिवार ने 1929 में हुई थी। मूल पारले कंपनी बाद में तीन अलग-अलग कंपनियों में विभाजित हो गई, जो विजय, शरद और राज चौहान के नेतृत्व में विभिन्न उत्पादों का निर्माण करती है। कंपनी का सबसे लोकप्रिय ब्रांड पारले-जी बिस्कुट है, जबकि इसके बाद मेलोडी, मैंगो बाइट, पॉपिन्स, किसमी टॉफी बार, मोनाको और क्रैक जैक बिस्कुट जैसे ब्रांड हैं। अंतर के बावजूद तीनों परिवार के सदस्य "पारले" ट्रेडमार्क का उपयोग करते हैं।

ब्रिटानिया

ब्रिटानिया इंडस्ट्रीज लिमिटेड, कोलकाता स्थित एक भारतीय बहुराष्ट्रीय खाद्य और पेय कंपनी है। इसकी स्थापना 1892 में हुई थी। अब ब्रिटानिया नुस्ली वाडिया की अध्यक्षता वाले वाडिया समूह के अंतर्गत आती है। कंपनी अपने बिस्कुट के लिए प्रसिद्ध है। कंपनी ब्रिटानिया और टाइगर ब्रांड के बिस्कुट, ब्रेड और डेयरी उत्पाद पूरे भारत में और दुनिया भर के 60 से अधिक देशों में बिकते हैं। ब्रिटानिया बिस्कुट, ब्रेड, केक, रस्क और डेयरी उत्पाद भी कम लोकप्रिय नहीं हैं।

मैरिको

1990 में मुंबई में स्थापित मैरिको भारत की अग्रणी एफएमसीजी कंपनियों में से एक है जो स्किनकेयर उत्पादों, खाद्य तेल, बालों की देखभाल, कपड़े की देखभाल, पुरुषों के सौंदर्य और स्वास्थ्य खाद्य पदार्थों जैसे दैनिक उत्पादों का निर्माण करती है। मैरिको का एशिया और अफ्रीका के 25 से अधिक देशों में कारोबार है। हर तीन में से कम से कम एक भारतीय पैराशूट, सफोला, हेयर एंड केयर, पैराशूट एडवांस्ड, निहार नेचुरल्स, मेडिकर और कई अन्य ब्रांडों के अपने पोर्टफोलियो के माध्यम से अपने उत्पाद का उपभोग करता है।

गोदरेज

गोदरेज समूह मुंबई स्थित भारतीय बहुराष्ट्रीय समूह है। कंपनी का प्रबंधन गोदरेज परिवार के स्वामित्व में है। 1897 में इसकी स्थापना आर्देशिर गोदरेज और पिरोशा बुर्जोरजी गोदरेज ने की थी। 1918 में उन्होंने दुनिया का पहला वनस्पति तेल साबुन, चावी नाम से शुरू किया, जो दुनिया का पहला साबुन था। बिना जानवरों की चर्बी के बना यह साबुन काफी लोकप्रिय हुआ। गोदरेज आज भी भारत के सबसे बड़े साबुन ब्रांडों में से एक है। इसके अलावा गोदरेज रियल एस्टेट, उपभोक्ता उत्पाद, औद्योगिक इंजीनियरिंग, उपकरण, फर्नीचर, सुरक्षा और कृषि उत्पादों में भी काम करता है। गोदरेज इंडस्ट्रीज इसकी ही कंपनी है, जबकि इसकी सहायक कंपनियों में गोदरेज कंज्यूमर प्रोडक्ट्स, गोदरेज एग्रोवेट और गोदरेज प्रॉपर्टीज के साथ-साथ निजी होल्डिंग कंपनी गोदरेज एंड बॉयस एमएफजी कंपनी लिमिटेड शामिल हैं। इसके साबुन अफ्रीका, लैटिन अमेरिका और संयुक्त राज्य अमेरिका में भी बिकते हैं।

टाटा

टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स मुंबई स्थित एक तेजी से आगे बढ़ने वाली उपभोक्ता वस्तु कंपनी है। टाटा समूह की पूर्ण स्वामित्व वाली कंपनी को दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी चाय का निर्माता और वितरक और एक प्रमुख कॉफी उत्पादक माना जाता है।

पहले इसे टाटा ग्लोबल बेवरेजेज लिमिटेड (टीजीबीएल) के नाम से जाना जाता था। फरवरी 2020 में टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स तब अस्तित्व में आया, जब टाटा केमिकल्स लिमिटेड के उपभोक्ता उत्पादों के कारोबार का टाटा ग्लोबल बेवरेजेज लिमिटेड में विलय हो गया। कंपनी खाद्य और पेय उद्योग में काम करती है, जिसका 56 प्रतिशत राजस्व भारत से आता है, जबकि बाकी अंतरराष्ट्रीय बाजार से। विलय से कंपनी को टाटा साल्ट, टाटा टी, टेटली, एइट ओ क्लॉक जैसे उत्पादों और टाटा संपन्न और टाटा स्टारबक्स जैसे कुछ उच्च विकास संभावित ब्रांडों के साथ कई और विविध पोर्टफोलियो में प्रवेश करने में मदद मिली है। कंपनी टाटा टी, टेटली और गुड अर्थ टी के तहत चाय बेचती है। टाटा टी भारत के बाजारों में सबसे ज्यादा बिकने वाला चाय ब्रांड है, टेटली कनाडा में एक सुपरहिट चाय ब्रांड है और यूनाइटेड किंगडम और संयुक्त राज्य अमेरिका में दूसरा सबसे बड़ा विक्रेता है। टाटा टी की लांचिंग के बाद कन्नन देवन, अग्नि, जेमिनी और चक्र गोल्ड जैसे अन्य ब्रांड भी पेश किए गए। 2012 में, टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स लिमिटेड भारत में स्टारबक्स कॉफी कंपनी के साथ 50:50 संयुक्त उद्यम के साथ आया था।

इमामी

 

इमामी समूह कोलकाता स्थित एक भारतीय बहुराष्ट्रीय समूह कंपनी है। कंपनी की भारत में सात और विदेश में एक विनिर्माण इकाई है। कंपनी पर्सनल केयर और हेल्थकेयर सेगमेंट में डील करती है। कंपनी के उत्पाद 60 से अधिक देशों में बेचे जाते हैं और भारत में 45 लाख खुदरा स्टोरों में उपलब्ध हैं। बोरोप्लस सबसे प्रसिद्ध उत्पाद है, जबकि अन्य उत्पादों में नवरत्न ऑयल, फेयर एंड हैंडसम, नवरत्न कूल टैल्क, सोना चांदी च्यवनप्राश, झंडू बाम, हिमानी फास्ट रिलीफ और अन्य शामिल हैं।

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