मां है दीवार तो पिता छत है, मां है सारथी तो पिता रथ है: अंजलि शाश्वत

पंडित हर्ष द्विवेदी कला मंच नवादा गढ़वा द्वारा सोमवार की शाम में स्वर्गीय विजय शंकर प्रसाद जी की पुण्यतिथि के अवसर पर विजय प्रतिभा सम्मान समारोह 2019 का आयोजन ज्ञान निकेतन कान्वेंट स्कूल गढ़वा के प्रांगण में किया गया किया गया। स्वर्गीय विजय शंकर प्रसाद के चित्र के समक्ष दीप प्रज्वलित कर तथा पुष्प अर्पित से कार्यक्रम का शुभारंभ हुआ।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 02 Apr 2019 05:12 PM (IST) Updated:Wed, 03 Apr 2019 06:40 AM (IST)
मां है दीवार तो पिता छत है,  मां है सारथी तो पिता रथ है: अंजलि शाश्वत
मां है दीवार तो पिता छत है, मां है सारथी तो पिता रथ है: अंजलि शाश्वत

गढ़वा :  पंडित हर्ष द्विवेदी कला मंच नवादा गढ़वा द्वारा सोमवार की शाम में स्वर्गीय विजय शंकर प्रसाद जी की पुण्यतिथि के अवसर पर विजय प्रतिभा सम्मान समारोह 2019 का आयोजन  ज्ञान निकेतन कान्वेंट स्कूल गढ़वा के प्रांगण में किया गया किया गया।  स्वर्गीय विजय शंकर प्रसाद के चित्र के समक्ष दीप प्रज्वलित कर तथा पुष्प अर्पित से कार्यक्रम का शुभारंभ हुआ। पंडित  हर्ष द्विवेदी कला मंच के निर्देशक नीरज श्रीधर स्वर्गीय ने कहा कि कला मंच विगत डेढ़ दर्शक से निरंतर समाज में विभिन्न माध्यमों से जागरूकता लाने का कार्य कर रहा है। जिले के स्वतंत्रता सेनानियों एवं उनके परिजनों को राष्ट्रीय पर्वों के अवसर पर जिला स्तरीय मुख्य समारोह में कला मंच के द्वारा सम्मानित किया जाता रहा है। सेवानिवृत्त बैंक अधिकारी अमरेंद्र कुमार सिन्हा ने कहा कि स्वर्गीय विजय शंकर प्रसाद जी का व्यक्तित्व अनुकरणीय था। उनकी कार्यशैली सभी के लिए प्रेरणादाई रही।  उनके सुपुत्र कृत्यानंद रक्तदान के क्षेत्र में अतुलनीय कार्य कर रहे हैं। ज्ञान निकेतन कान्वेंट स्कूल के निदेशक मदन प्रसाद केसरी ने कहा कि स्वर्गीय विजय शंकर प्रसाद जी की पुण्य तिथि पर विजय प्रतिभा सम्मान समारोह का आयोजन एक प्रशंसनीय गतिविधि है । इस मौके पर प्रोफेसर उमेश सहाय, उमा शंकर श्रीवास्तव, डा. कुलदेव चौधरी एवं शिबू जी ने भी अपने  उदगारों को व्यक्त किया। संस्कार भारती गढ़वा जिला इकाई की  मातृशक्ति प्रमुख  के दायित्व निर्वहन कर रही अंजलि शाश्वत को झारखंड प्रांत का प्रतिनिधित्व करते हुए राष्ट्रीय स्तर पर काव्य-पाठ करने हेतु विजय प्रतिभा सम्मान 2019 प्रदान किया गया। इस अवसर पर उन्होंने पिता को समर्पित अपनी कविता जीवन की  भोर भी सुनाई। इन्होंने मां है दीवार तो पिता छत है, मां है सारथी तो पिता रथ की प्रस्तुती से लोगों को मुग्ध कर दिया। इस मौके पर देवभाषा संस्कृत को जन-जन तक पहुंचाने में उसे रुचिकर बनाने में योगदान करने हेतु बीपी डीएवी के शिक्षक एवं संस्कार भारती के गढ़वा जिला प्रमुख शंभू कुमार तिवारी को विजय प्रतिभा सम्मान प्रदान किया गया। वहीं कुशल दंड  चालन के लिए विवेक सिन्हा को विजय प्रतिभा सम्मान से नवाजा गया। जबकि जुड़वनिया शिव मंदिर के पुनर्निर्माण  एवं  रक्शैल बाबा के धाम पर  मेला लगवाने जैसे धर्म जागरण के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने हेतु प्रेम दीवाना को विजय प्रतिभा सम्मान 2019 प्रदान किया गया। गायन के क्षेत्र में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने हेतु  पलक तिवारी को विजय प्रतिभा सम्मान 2019 से सम्मानित किया गया। वहीं आधुनिक व रोचक तरीके से अध्यापन कार्य करने हेतु इंजीनियर दिलीप कुमार चौधरी को विजय प्रतिभा सम्मान 2019 प्रदान किया गया। गणतंत्र दिवस पर झांकी निर्माण व सर्वोत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए राजकीय मध्य विद्यालय चिरौंजिया के शिक्षक राम प्रदीप राम को विजय प्रतिभा सम्मान 2019 प्रदान किया गया।

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